अहमदाबाद / गुजरात हाईकोर्ट ने मानहानि के केस में राहत देने की राहुल गांधी की पुनःविचार याचिका को खारिज कर दिया है और सूरत के ट्राइल कोर्ट का 2 साल की सजा का फैसला बरकरार रखा है। इस तरह कांग्रेस नेता राहुल गांधी को बड़ा झटका लगा है। लेकिन अब कांग्रेस इस मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट जायेगी।
सूरत कोर्ट के फैसले के खिलाड़ी कांग्रेस ने गुजरात हाईकोर्ट में याचिका लगाकर इस मामले में राहुल गांधी को राहत दिए जाने की मांग की थी लेकिन आज सुनवाई के दौरान अदालत ने सूरत कोर्ट का फैसला सही मानते हुए उनकी 2 साल की सजा बरकरार रखने का फैसला सुनाया है साथ ही हाईकोर्ट ने टिप्पणी की कि दोषसिद्धि के केस पर रोक नही लगाने से कोई अन्याय नहीं हुआ है मानहानि केस में सजा उचित है जबकि ऐसे आधार पर रोक की मांग जिसका कोई अस्तित्व ही नहीं है, हाईकोर्ट ने कहा आवेदक पर इस तरह के 10 मामले पहले से लंबित है और इसी तरह का एक और भी केस है।
जैसा कि 2019 के लोकसभा चुनाव में गुजरात की एक सभा में राहुल गांधी ने मोदी जातिवर्ग को लेकर एक टिप्पणी की थी जिसको लेकर गुजरात के बीजेपी विधायक पूर्णेश मोदी ने उनके।खिलाफ सूरत के कोर्ट में मानहानि याचिका लगाई थी जिसपर संज्ञान लेते हुए सूरत कोर्ट ने उन्हें मानहानि का दोषी माना था और दो साल की सजा सुनाई थी इस सजा के बाद उनकी सांसद की सदस्यता चली गई वहीं अपना बंगला भी उन्हें खाली करना पड़ा था। यदि 2 साल की यह सजा बरकरार रहती है तो राहुल गांधी की संसद की सदस्यता तो गई ही बल्कि वह 8 साल तक कोई चुनाव भी नही लड़ सकेंगे।
इधर हाईकोर्ट से झटका लगने के बाद अब कांग्रेस इस मामले को सुप्रीम कोर्ट में ले जायेगी। कांग्रेस नेता और वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि यह मामला कोई द्वेष आधारित नहीं है सबाल यह भी है कि इससे याचिकाकर्ता को पता नही क्या नुकसान हुआ था लेकिन इसपर प्रतिशोध की राजनीति की जा रही है लेकिन हमें पूरा भरोसा है कि सुप्रीम कोर्ट सत्य का साथ देगा।