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पंजाब में जहरीली शराब पीने से मौत का आंकड़ा पहुंचा 86 पर 25 गिरफ्तार

  • पंजाब में जहरीली शराब पीने से मौत का आंकड़ा पहुंचा 86 पर 25 गिरफ्तार…

  • आबकारी और पुलिस अधिकारी सहित 13 सस्पेंड…

  • मुख्यमंत्री ने प्रभावित परिवारों को दो दो लाख की मदद की घोषणा की…

चंड़ीगढ़ – पंजाब के तीन जिलों में जहरीली शराब पीने से होने वाली मौत का आंकड़ा 86 पर जा पहुंचा है इस मामले में अभी तक 2 महिलाओं सहित 25 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है और तीनों जिले तरनतारन अमृतसर और गुरूदासपुर में करीब 100 जगह छापेमार कार्यवाही की गई है जबकि सरकार ने इस हादसे की मजिस्ट्रियल जांच की आदेश दे दिये हैं।

इधर सरकार ने 7 आबकारी अधिकारी और 6 पुलिस कर्मी सस्पेंड कर दिये गये हैं। वही मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह प्रभावित परिवारों को 2 -2 लाख की आर्थिक सहायता की घोषणा करते हुए कहा कि मामले के दोषियों को बख्शा नहीं जायेगा।

पंजाब प्रांत के तीन जिलों तरनतारन अमृतसर और गुरुदासपुर में जहरीली शराब पीने से हुई मौतों का आंकड़ा लगातार बढ़ता जा रहा है पिछले गुरुवार और शुक्रवार को इस जहरीली कच्ची शराब पीने के बाद 49 लोगों की मौत हुई थी।

उंसके बाद शनिवार को 13 और लोगों ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया इस जहरीली शराब कांड में सबसे अधिक 42 लोगों की तरनतारन में मौत हुई जबकि अमृतसर में 12 और गुरुदासपुर जिले के बटाला में 8 लोगों ने दम तोड़ दिया था लेकिन जहरीली शराब पीने के मौत के मामले बढ़ते ही जा रहे है और अभी तक 86 लोगों की मौत की खबर हैं ।

इस घटना के बाद पूरे पंजाब प्रांत में अफरा तफरी का आलम है जबकि तीनों जिलों तरनतारन अमृतसर गुरूदासपुर (बटाला) में आबकारी विभाग पुलिस और स्थानीय प्रशासन की सयुक्त टीमें लगातार छापेमारी कर रही हैं औऱ अभी तक अवैध शराब बनाने वाले शराब तस्करों के करीब एक सैकड़ा से अधिक ठिकानों पर छापेमार कार्यवाही की जा चुकी हैं जिसमें 25 लोगों को गिरफ्तार किया गया हैं।

खास बात है मरने वालों में अधिकांश गरीब मजदूर तबके के है जबकि पकड़े गए एक आरोपी के मुताबिक यह देशी शराब एल्कोहल में धतूरा और यूरिया खाद मिलाकर बनाई जाती है जो ज्यादा तीखी हो जाती है और तेज नशा देती है।

पंजाब के वरिष्ठ प्रशासन ने इस मामले में 7 आबकारी अधिकारी सहित 6 पुलिस कर्मियों को सस्पेंड कर दिया है जिसमें 2 थाना प्रभारी और एक डीएसपी भी शामिल है जबकि तरनतारन के आबकारी अधिकारी मधुर भाटिया को भी बर्खास्त कर दिया गया है।

बताया कि इस मामले की सरगना एक महिला वलविंदर कोर हैं जिसका इस अवैध शराब का धंधा करने वालों का एक पूरा गिरोह है वही कई ढावा मालिक और ट्रांसपोर्टर्स भी इस गोरखधंधे में शामिल बताये जाते हैं।

इस हादसे के बाद मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने जालंधर के डिवीजनल कमिश्नर राजकमल चौधरी को घटना की न्यायिक जांच के आदेश देते हुए तीन सप्ताह में रिपोर्ट देने के निर्देश दिये हैं जिसमें आबकारी विभाग के ज्वाइंट कमिश्नर और जिलों के एसपी भी शामिल रहेंगे। इसके अलावा बटाला और अमृतसर में जांच के लिये एसआईटी का भी गठन किया गया हैं।

इधर मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने इस हादसे पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा है कि दोषियों को बख्शा नही जायेगा इस मामले की उच्चस्तरीय जांच होगी। मुख्यमंत्री ने मृतकों के परिजनों को 2 -2 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा भी की है।

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