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ट्रम्प का ‘टैरिफ हथौड़ा’: भारत पर 25% शुल्क, 1 अगस्त से प्रभावी – व्यापार संबंधों में नई चुनौती

Donald Trump US

नई दिल्ली: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने भारत को एक बड़ा झटका देते हुए उस पर 25% आयात शुल्क (टैरिफ) और जुर्माना लगाने की घोषणा की है। यह फैसला 1 अगस्त, 2025 से लागू होगा, जिससे दोनों देशों के बीच व्यापार संबंधों में तनाव बढ़ने की आशंका है। ट्रम्प ने यह ऐलान अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘ट्रुथ सोशल’ पर किया, और इसके पीछे भारत के रूस के साथ बढ़ते रक्षा एवं ऊर्जा संबंध और भारत द्वारा लगाए जाने वाले कथित “उच्च टैरिफ” को मुख्य कारण बताया।

फैसले के प्रमुख बिंदु:

  • 25% टैरिफ और जुर्माना: ट्रम्प ने स्पष्ट किया कि भारत को रूसी तेल और सैन्य उपकरण खरीदने के एवज में 1 अगस्त से 25% टैरिफ और जुर्माना देना होगा।
  • रूस से नजदीकी का आरोप: अमेरिकी राष्ट्रपति का आरोप है कि भारत लगातार रूस से सैन्य उपकरण और ऊर्जा खरीद रहा है, जो यूक्रेन युद्ध के मद्देनजर अमेरिका को रास नहीं आ रहा है। ट्रम्प ने कहा, “भारत हमेशा रूस से ही ज्यादातर सैन्य उपकरण खरीदता रहा है। और चीन के साथ, वे रूस के सबसे बड़े ऊर्जा खरीदार हैं। ऐसे समय में जब हर कोई चाहता है कि रूस यूक्रेन में हत्या करना बंद करे – ये सब अच्छी बातें नहीं हैं!”
  • भारत के ‘उच्च टैरिफ’ पर निशाना: ट्रम्प ने भारत पर दुनिया में सबसे अधिक और बेकार गैर-मौद्रिक व्यापार बाधाएं लगाने का आरोप लगाते हुए कहा, “भारत एक अच्छा दोस्त रहा है, लेकिन भारत ने लगभग किसी भी अन्य देश की तुलना में अधिक टैरिफ लगाया है। आप ऐसा नहीं कर सकते।”
  • व्यापार वार्ता में गतिरोध: यह फैसला ऐसे समय में आया है जब भारत और अमेरिका के बीच एक द्विपक्षीय व्यापार समझौते को अंतिम रूप देने के लिए महीनों से बातचीत चल रही थी। हालांकि, कृषि और डेयरी उत्पादों तथा जीएम एग्री प्रोडक्ट्स पर शुल्क कम करने को लेकर भारत के रुख के कारण यह समझौता अभी तक परवान नहीं चढ़ सका है।

भारत पर संभावित असर:

  • निर्यात पर गंभीर चोट: 25% टैरिफ से भारतीय वस्तुओं और सेवाओं का अमेरिका को निर्यात महंगा हो जाएगा, जिससे भारतीय उत्पादों की अमेरिका में मांग में कमी आने की आशंका है। विशेषज्ञों का मानना है कि इससे भारत के निर्यात में सालाना $2 अरब से $7 अरब तक की गिरावट आ सकती है।
  • प्रमुख प्रभावित क्षेत्र: इलेक्ट्रॉनिक्स, फार्मास्यूटिकल्स (विशेषकर जेनेरिक दवाएं), वस्त्र, रत्न एवं आभूषण, चमड़े के सामान, प्लास्टिक, रसायन, झींगा, तिलहन, अंगूर और केले जैसे श्रम-प्रधान भारतीय उद्योग सबसे अधिक प्रभावित हो सकते हैं।
  • अर्थव्यवस्था पर दबाव: रुपये पर भी दबाव बढ़ने की संभावना है। कपड़ा, हीरे, ऑटो और मोबाइल कंपनियों के शेयरों में गिरावट देखी जा सकती है।
  • रणनीतिक संबंधों पर असर: व्यापार के साथ-साथ यह अमेरिकी कदम भारत-अमेरिका के रणनीतिक संबंधों को भी प्रभावित कर सकता है, जिससे भारत को रूस या चीन जैसे देशों के करीब जाने के लिए मजबूर होना पड़ सकता है।

भारत सरकार की प्रतिक्रिया:

भारत सरकार ने अमेरिकी राष्ट्रपति के बयान को गंभीरता से लिया है। वाणिज्य मंत्रालय ने कहा है कि सरकार इस फैसले के असर का गहन अध्ययन कर रही है। मंत्रालय ने यह भी दोहराया कि भारत सरकार अपने किसानों और उद्यमियों के हितों की रक्षा के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगी।

आगे की राह:

ट्रम्प का यह अचानक उठाया गया कदम 25 अगस्त को होने वाली अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधिमंडल की भारत यात्रा से ठीक पहले आया है। इसे व्यापार वार्ता में भारत पर दबाव बनाने की रणनीति के तौर पर देखा जा रहा है। भारत के पास विश्व व्यापार संगठन (WTO) में अपील करने या कूटनीतिक स्तर पर बातचीत तेज करने का विकल्प खुला है। हालांकि, यह देखना बाकी है कि ट्रम्प प्रशासन की यह ‘टैरिफ नीति’ भारत-अमेरिका संबंधों को किस दिशा में ले जाती है।

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सीजफायर मैने कराया, भारत पाकिस्तान संघर्ष में 5 लड़ाकू जेट गिरे कहा ट्रंप ने किसके गिरे, नही बताया, कांग्रेस ने दावे पर 3 सवाल किए

Donald Trump US

वाशिंगटन, नई दिल्ली/ अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक बार फिर भारत पाकिस्तान के बीच संघर्ष को रुकवाने का दावा किया है साथ ही उन्होंने कहा मुझे लगता है कि भारत और पाकिस्तान के बीच संघर्ष में 5 जेट गिरे थे लेकिन उन्होंने यह स्पष्ट नहीं किया कि यह लड़ाकू विमान किस देश के गिरे थे। यह बात ट्रंप ने शुक्रवार को व्हाइट हाउस में डिनर के दौरान रिपब्लिकन सांसदों के बीच कही। लेकिन ट्रंप के 24 वीं बार संघर्ष विराम के दावे के बाद कांग्रेस ने 3 सवाल करते हुए सीधा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से संसद में इसका जवाब देने को कहा है।

18 जुलाई शुक्रवार को अमेरिका के व्हाइट हाउस में रिपब्लिकन पार्टी के सांसदों को डिनर दिया गया था राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने डिनर के दौरान कहा “हमने कई युद्ध रोके और ये युद्ध भारत पाकिस्तान के बीच चल रहा था। वहां विमानों को मार गिराया जा रहा। मुझे लगता है वास्तव में 5 जेट गिराए गए थे ये दोनों देश संवेदनशील एटमी शक्ति है और वे एक दूसरे पर हमला कर रहे थे यह जंग बड़ा रूप ले सकती थी।

इस तरह ट्रंप अब तक 24 बार भारत पाकिस्तान के बीच सीजफायर की बात कह चुके है सबसे पहले उन्होंने यह दावा 10 मई को सोशल मीडिया पर किया था।

इससे पहले 14 जुलाई को भी ट्रंप ने आने इस दावे को दोहराया था कि, उन्होंने पहलगाम आतंकी हमले के बाद हाल में भारत पाकिस्तान के बीच संघर्ष बढ़ने से पहले रोक दिया था। ट्रंप ने यह टिप्पणी नाटो के महासचिव मार्क रूट के साथ अपनी बैठक के दौरान की थी। ट्रंप ने कहा ” हम यह युद्ध निबटाने में बहुत सफल रहे है” उन्होंने इसके लिए अपनी रणनीति की ओर इशारा करते हुए कहा हमने व्यापार के माध्यम से ऐसा किया।

दरअसल पाकिस्तान ने दावा किया था कि उसने लड़ाई में 5 भारतीय विमान मार गिराए है वहीं भारत ने भी कहा हमने पाकिस्तान के कुछ विमान गिराए है खास बात है पाकिस्तान ने अपने किसी भी विमान के नुकसान से इंकार नहीं किया जबकि उसने हवाई ठिकानों को निशाना बनाने की बात मान ली थी।

ट्रंप के दावे पर कांग्रेस के तीन सवाल, मांगा पीएम से जबाव –

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बार बार दावा करने के बाद आज शनिवार को कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से तीन सवाल पूछे है। पहला – क्या ट्रंप ने वाकई सीजफायर करवाया। दूसरा – क्या ट्रंप ने व्यापार की धमकी देकर जंग रुकवाई। तीसरा – जंग में 5 लड़ाकू विमान किसके गिरे।

कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता जयराम नरेश ने यह सवाल करते हुए कहा हैं कि संसद शुरू होने वाली है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपनी चुप्पी तोड़ना चाहिए कोई और नेता नहीं चलेगा कांग्रेस और पूरा विपक्ष विशेष चर्चा की मांग करेगा, और पीएम को जबाव देना चाहिए हमें कोई सब्सिट्यूट बल्लेबाज नहीं चाहिए केवल और केवल प्रधानमंत्री को ही जबाव देना होगा।

जबकि कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने कहा कि पीएम मोदी और राष्ट्रपति ट्रंप की लंबे समय से दोस्ती है फिर चाहे वह सितंबर 2019 की हाउडी मोदी हो या फरवरी 2020 में नमस्ते ट्रंप का आयोजन हो, दोनों का गले मिलने का रिश्ता रहा है अब पीएम मोदी को संसद में खुद बयान देना होगा। खेड़ा ने कहा है कि हमने देश का पीएम कौन है? मैंने गूगल किया, तो नरेंद्र मोदी का नाम सामने दिखा, फिर ट्रंप ही सब कुछ क्यों बोल रहे है वह सारे फैसले क्यों ले रहे है।

कांग्रेस और विपक्ष मानसून सत्र में वे ट्रंप के इन दावों पर सरकार से जवाब चाहते है मानसून सत्र 21 जुलाई से शुरू हो रहा है इस मुद्दे पर संसद में हंगामे के आसार लगते है।

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ईरान ने इजराइल के साथ कतर के अमेरिकी एयरवेज पर बैलेस्टिक मिसाइलों से हमला किया, 9 नागरिकों की मौत, ट्रंप ने सीजफायर का किया ऐलान?

Iran-Isarel-US War

तेहरान,येरुशलम/ ईरान ने कतर में अमेरिकी एयरबेस को निशाना बनाया है बताया जाता है ईरान ने देर रात दोहा स्थित अमेरिकी एयरबेस पर बैलेस्टिक मिसाइलों से हमला किया है। साथ ही सुबह तड़के इजराइल पर भी बैकस्टिक मिसाइलें दागी। जिसमें 9 इजराइली नागरिकों की मौत हो गई और अच्छा खासा नुकसान इजराइल को हुआ है। जबकि सोमवार को इजराइल ने ईरान पर जोरदार हमला किया था। जिससे ईरान दहल गया था। इधर अमेरिकी राष्ट्रपति ने एक पोस्ट जारी कर सीजफायर की घोषणा करते हुए कहा कि ईरान इजराइल के बीच अब सीजफायर लागू है कोई देश उसका उल्लंघन न करे। लगता है अमेरिकी एयरबेस पर ईरान के हमले से अमेरिका ने भी सबक लिया और आनन फानन ट्रंप ने सीजफायर का ऐलान किया। लेकिन रिपोर्टों के अनुसार अभी कुछ कहा नहीं जा सकता फिलहाल दोनों देश अपनी सुरक्षा के प्रति सचेत है।

ट्रंप का सीजफायर का ऐलान –

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप सोशल मीडिया X पर पोस्ट कर कहा है कि दोनों देशों के बीच सीजफायर लागू हो गया है शांति बनाए रखें और आगे एक दूसरे पर हमले न करें। लेकिन फिलहाल दोनों ही देशों की तरफ से ट्रंप के सीजफायर के ऐलान के बाद अभी तक कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।

ईरान का इजराइल और कतर के अमेरिकी एयरवेज पर हमला –

लेकिन उससे पहले ईरान ने बैलेस्टिक मिसाइलों से इजराइल पर हमला बोल दिया तेल अबीब शहर में ईरान ने करीब 15 से 20 हायपरसोनीक और बैलेस्टिक मिसाइलें छोड़ी , जिन्हें इजराइल के डिफेंस सिस्टम ने नाकाम करने का अभियान चलाया लेकिन कुछ मिसाइलें बिल्डिंग पर आ गिरी जिससे इमारतों को भारी नुकसान हुआ और 6 नागरिकों के मरने की खबरें है। इस बीच इजराइली नागरिकों ने सुरक्षा के मद्देनजर बंकरों में छुपकर अपनी जान बचाई।

ईरान ने बीती देर रात कतर में अमेरिकी एयरवेज पर जोरदार हमला किया ईरान ने राजधानी दोहा स्थित अलअदह में अमेरिका के एयरवेज पर बैलेस्टिक मिसाइलें दागी बताया जाता है बताया गया कि करीब 6 से 10 मिसाइलें दागी लेकिन जो तस्वीरें आई है उसमें काफी संख्या में आकाश में मिसाइलें दिखाई दे रही है। वहां अमेरिका के करीब 10 हजार सैनिक तैनात थे फिलहाल जानमाल का कितना नुकसान हुआ इसकी जानकारी सामने नहीं आई है। इसके बाद अमेरिका ने अपने लोगों से सुरक्षित जगह जाने के निर्देश दिए जबकि कतर ने अपना एयर स्पेस बंद कर दिया और अपनी उड़ाने रद्द कर दी है कतर सरकार ने भी अपने दोहा के नागरिकों से सुरक्षित जगह चले जाने के आदेश दिए हैं। जबकि ईरान ने इस हमले को “विजय की उदघोषणा” नाम दिया है।

इससे पहले सोमवार को खबर आई थी कि ईरान ने सीरिया के अमेरिकी एयरवेज पर कुछ बम गिराए थे।

ईरान इजराइल युद्ध…इससे पहले क्या हुआ –

अमेरिका के हमले के बाद ईरान ने इजराइल के दस शहरों पर बैकस्टिक मिसाइलों से हमला किया था बताया जाता है इस हमले में ईरान ने 40 मिसाइलों को दागा था। ईरान ने तेल अबीब अम्मान हाइफा अशदोद रामल्लाह, येरुशलम शहर और बेस्ट बैंक इलाका प्रमुख रूप से शामिल है।

ईरान के लगातार हमलों का इजराइल ने भी खुलकर जवाब दिया है और इजराइली सेना जबरदस्त एयर स्ट्राइक की और ईरान के 6 एयरपोर्ट पर हवाई हमले किए है इजराइली सेना ने बख्तरी मशरद, तेहरान हमादान शाहिद देजफुल,और तजरीज एयरपोर्ट को निशाना बनाया है। इजराइली सेना ने बयान जारी करने बताया है कि उसने ड्रोन हमलों के जरिए ईरान के 15 सैन्य सेंटर और हेलीकोटर नष्ट कर दिए है। इन हमलों में हवाई पट्टियां अंडर ग्राउंड बकरों और एक ईंधन भरने वाले विमान को भी नष्ट कर दिया है साथ ही ईरान के F 14, F 5 और AH 1 जैसे फ़ाईटर विमानों को भारी नुकसान पहुंचाया है।

इससे पहले इजराइली एयरफोर्स ने रविवार देर रात ईरान के शाहरुद में बैलेस्टिक मिसाइल का इंजन बनाने वाली फैक्ट्री पर भी बमबारी की यह जगह इजराइल से करीब 2000 किलोमीटर की दूरी पर है इस हमले में इंजन बनाने वाली कई बड़ी मशीनें और जरूरी इक्यूपेंट तबाह हो गए। इसके अलावा इजराइल ने तेहरान, केरमानशाह और हमादान में भी एयर स्ट्राइक की।

ईरान अमेरिका के युद्ध में कूदने से रूस से अपने लिए समर्थन हासिल करने के प्रयासों में जुट गया है जिसने चलते सोमवार को ईरान के विदेश मंत्री सैयद अब्बास अगारची रूस पहुंचे और उन्होंने बेल्दहिम पुतिन से मुलाकात कर अपने सुप्रीम लीडर खामेनेई की चिट्ठी सौंपी। बताया जाता है पुतिन ने इसके बाद अमेरिका इजराइल और ईरान के नेताओं से बात की। साथ ही कहा ईरान पर इजराइल के बाद अमेरिका का हमला सही नहीं है हम ईरान के समर्थन में खड़े है।

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अमेरिका का ईरान के 3 परमाणु सेंटर्स पर हमला, बंकर बस्टर बम गिराए ,तीनों साइट्स तबाह होने का दावा, ईरान का इजराइल पर जवाबी हमला

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तेहरान / अमेरिका ने सुबह तड़के ईरान की तीन न्यूक्लियर साइट्स पर बंकर बस्टर बमों (GBU – 57 A/B) से एकसाथ हमला किया जिससे उन्हें भारी नुकसान हुआ है बताया जाता है यह हमला ईरान के फॉर्डो, नतांज और इस्फहान न्यूक्लियर साइट्स पर किया गया है। लेकिन अमेरिका के इस हमले के विरोध में दुनिया में स्वर उठने लगे है। जबकि ईरान ने इसके जवाब में इजराइल के 10 शहरों पर जोरदार हमला किया है।

भारतीय समयानुसार अमेरिका का यह हमला रविवार सुबह 4.30 बजे हुआ । सूत्र बताते है इस हमले में खासकर फोर्डो और इस्फहान में भारी तबाही हुई है और यह सेंटर 75 फीसदी नष्ट हो चुके है। बताया जाता है इन B 2 बमों की टनों बारूद से जमीन हिल गई।

हमारा उद्देश्य दुनिया को परमाणु खतरे से बचाना, कहा ट्रंप ने –

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हमले के तीन घंटे बाद अपने संदेश में यह जानकारी देते हुए बताया कि हमने इन ठिकानों पर बमों की एक पूरी ख़ैप गिराई है उन्होंने कहा ईरान की अहम न्यूक्लियर साइट्स “Oblilerate” यानि पूरी तरह से तबाह कर दी गई है। उन्होंने कहा हम लोगों का मकसद किसी को डराने का नहीं बल्कि परमाणु बम बनाने से रोकना और दुनिया को परमाणु खतरे से बचाना है।

अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने ईरान को धमकी देते कहा कि अब शांति कायम करना चाहिए और वह ऐसा नहीं करता तो उसपर और बड़े हमले किए जायेंगे।

नेतन्याहू ने खुशी जाहिर की –

इस हमले के बाद इजराइल के पीएम बैंजामिन नेतन्याहू ने खुशी जताई है उन्होंने अमेरिका को इजराइल का बड़ा दोस्त बताते हुए कहा कि अमेरिका का यह हमला इतिहास बदलने वाला है।

अमेरिका को ऐसे जख्म देंगे उभर नहीं पायेगा: ख़ामेनेई –

इधर ईरान ने कहा है कि इस तरह का हमला बर्दाश्त नहीं है ईरान परमाणु ऊर्जा संस्था (AEOI) ने इस अमेरिकी हमले की घोर निंदा करते हुए कहा यह हमला अंतरराष्ट्रीय कानूनों का खुला उल्लंघन है।

जबकि ईरान के सुप्रीम लीडर ख़ामेनेई ने चेतावनी देते हुए कहा कि अमेरिका जवाबी कार्यवाही और ईरानी हमले के लिए तैयार रहे हम अमेरिका को ऐसा जख्म देंगे जिसका उसे अंदाज नहीं होगा।

IAEA के मुताबिक,हमले के बाद कोई रेडिएशन नहीं –

ईरानी परमाणु ऊर्जा संस्था (IAEA) ने कहा है कि अमेरिका के मिसाइल और बम हमलों के बाद फोर्डो नतांज और इस्फहान में कोई रेडिएशन लीक नहीं हुआ है, एजेंसी ने सोशल मीडिया पर बताया हैं कि इलाके की जांच और रेडिएशन मापने वाली मशीनों से यह जानकारी मिली है उसके अनुसार बाहर रहने वालो पर किसी तरह का खतरा नहीं है और इन स्थलों की सुरक्षा अब भी सामान्य और स्थिर है।

डेमोक्रेटिक पार्टी ने विरोध दर्ज कराया

अमेरिका के ईरान पर हमले को लेकर US की डेमोक्रेटिक पार्टी ने अपना विरोध दर्ज कराते हुए कहा राष्ट्रपति ट्रंप ने कानून तोड़ा है , उन्होंने कहा कि कांग्रेस से इसकी कोई अनुमति नहीं ली उन्होंने बिना अनुमति के हमला किया, ट्रंप की गलती की सजा यूएस भुगतेगा।

UN ने की शांति की अपील-

यूएन के महासचिव एंटोनियो गुटरेस ने सभी पक्षों से शांति की अपील की है उन्होंने कहा यह हमला अंतरराष्ट्रीय शांति के लिए खतरा है।

हमास ने अमेरिकी हमले की निंदा की –

हमास ने ईरान पर अमेरिकी हमले की निंदा करते हुए कहा कि यह खुला हमला है अपने बयान में हमास ने कहा है कि यह हमला अंतरराष्ट्रीय कानून का गंभीर उल्लंघन है इससे दुनिया की शांति और स्थिरता पर सीधा खतरा उत्पन्न होगा।

कैसे किया अमेरिका ने हमला –

अमेरिका की सेना ने 400 मील दूर से मिसाइलें दागी, नतांज और इस्फहान में 30 टॉम होम क्रूज मिसाइलें दागी जिन्हें उन्होंने 400 मील अर्थात 643 किलोमीटर दूर अमेरिकी पनडुब्बियों से लाँच किया था।

अमेरिका ने फोर्डो न्यूक्लियर साइट पर 6 बंकर बस्टर बम गिराए, फॉक्स न्यूज के सूत्रों के मुताबिक बताया गया है कि अमेरिकी सेना ने फोर्डों की न्यूक्लियर साइट्स पर 5 से 6 की तादाद में B 2 बॉम्बर से GBU – 57 बम गिराए। जबकि पहले यह अंदाजा लगाया गया था कि फोर्डों न्यूक्लियर साइट्स के लिए 2 बंकर बस्टर बम की ही जरूरत होगी।

समझे, क्या है और कहा है ईरान के 3 न्यूक्लियर सेंटर –

1 नतांज एटोमिक फैसेलिटी सेंटर –
# इस साइट पर 9 परमाणु बम बनाने जितना यूरेनियम मौजूद है।
# नतांज में एडवांस सेंट्रीफ्यूजन लगे है इससे यूरेनियम 235 की प्योरिटी के लिए की सफाई होती है।
# इजराइली पीएम नेतान्याहू ने इसे ईरान का सबसे बड़ा परमाणु खतरा बताया है।

2.फोर्डो एनरिकमेंट प्लांट –
# नतांज के बाद यह ईरान का दूसरा सबसे बड़ा यूरेनियम प्यूरीफिकेशन प्लांट है।
# यह ईरान की एक पहाड़ी में 295 फीट यानि लगभग 90 मीटर गहराई में मौजूद है।
# इसका कंट्रोल परमाणु ऊर्जा संगठन (AEOI) के पास है।
# हवाई हमले से इसे आसानी से तबाह करना काफी मुश्किल है।
# सिर्फ अमेरिका GBU – 57, बंकर बस्टर बम और B – 2 स्टेल्थ विमान ही नुकसान पहुंचाने में सक्षम।

3. इस्फहान परमाणु टेक्नोलॉजी सेंटर –
# यूरेनियम कन्वर्जन फैसेलिटी ,यहां कच्चे यूरेनियम को गैस में बदला जाता है।
# इस्फ़हान में ईरान का एक बड़ा एयरबेस, यहां पुराने अमेरिकी F – 14 फाइटर जेट मौजूद है।
# इस्फहान ने हथियार बनाने वाली फैक्टी भी है।
# इजराइल ने 13 जून को यहां के एक एयरबेस पर 3 ड्रोन से हमला किया था।

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अमेरिका में अवैध रूप से रह रहे 104 अप्रवासी भारतीय डिपोर्ट , 20 हजार चिह्नित वह भी वापस आयेंगे?, विदेश सचिव ने कहा आगे ऐसा न हो हम ख्याल रखेंगे

Indian immigrants living illegally in America deported

वाशिंगटन, अमृतसर/ अमेरिका से डिपोर्ट होकर गुरुवार को 104 भारतीय देश आए थे लेकिन बिना वैध दस्तावेज के अभी भी 20 हजार भारतीय अप्रवासी अमेरिका में है जो चिह्नित किए जा चुके है और अमेरिका जल्द उन्हें भी डिपोर्ट करेगा। लेकिन भारत आए अप्रवासी भारतीयों को जिस हालात में हाथों में हथकड़ी और पैरो में जंजीर की बेड़ियां डालकर लाया गया इससे अमेरिका की क्रूरता सामने आती है इधर इंडिया सरकार का रुख फिलहाल स्पष्ट नहीं है उसने अभी तक इस बारे में कोई फैसला नहीं लिया न ही अमेरिका से इस बारे में कोई ठोस बातचीत ही की है चूंकि इस मामले में अमेरिका का कानून कड़ा है इससे लगता है भारत के पास भी कुछ कहने को नहीं है। लेकिन अब विदेश सचिव सामने आए है उन्होंने शुक्रवार को कहा कि आगे हम ख्याल रखेंगे की आगे भारतीयों को भारत भेजते समय उनके साथ दुर्व्यवहार न हो, लेकिन उन्होंने यह भी कहा डिपोर्टेशन कोई नई बात नहीं है इस बारे में विदेश मंत्री ने 6 फरवरी को संसद में जवाब भी दिया है।

बुधवार 5 फरवरी 2025 को अमेरिका से जबरन डिपोर्ट होने के बाद 104 भारतीय नागरिकों को अमेरिका का एयरफोर्स विमान C 17 ग्लोबमास्टर लेकर भारत आया था यह अमेरिका की नई इमिग्रेशन पॉलिसी के तहत अमेरिका से निकाले गए थे यह विमान दोपहर 2 बजे अमृतसर में एयरफोर्स एयरबेस पर उतरा था इसमें पंजाब के 30 लोग हरियाणा और गुजरात के 33 – 33 ,महाराष्ट्र के 3 उत्तर प्रदेश और चंडीगढ़ के 2 – 2 लोग शामिल थे इनमें 8 से 10 साल के बच्चे और महिलाएं भी शामिल थी।

लेकिन सबसे अहम बात है कि इनमें शामिल पुरुषों को हाथों में हथकड़ी और पैरो में जंजीर की बेड़ियों से बांधा गया था करें 40 से 44 घंटे की अमेरिका से भारत की यात्रा में इन्हें वाशरूम जाने की इजाजत नहीं दी गई काफी मिन्नतों के बाद कुछ लोगों को क्रू मेंबर के साथ बमुश्किल इजाजत दी गई थी विमान की जिस सीट पर बैठे उसपर यह हिल भी नही पा रहे थे यात्रा के दौरान खाना भी हथकड़ी पहने ही खाना पड़ा।

इससे पहले अमेरिका में इन्हें हिरासत में लेने के बाद जिन डिटेंशन हाउस में रखा गया वह के हालत भी काफी भयावह थे लौटे लोगों ने बताया डिंटेशन होम में महिला और पुरुषों को अलग अलग हॉल में रखा गया था 24 घंटे में दिन में केवल आधे घंटे के लिए खुले में ले जाया जाता था बाकी समय अपने बेड के पास ही रहने के आदेश थे प्रतिदिन तीन बार सभी की गिनती होती थी इस 10 मिनट के दौरान प्रवासियों को बेड पर बैठकर सामने गार्ड को देखना होता था दाएं बाएं नहीं देखा सकते थे काउंटिंग के दौरान अमेरिकी सैनिक उनपर तंज भी कसते थे लौटे प्रवासी भारतीय का कहना था कि हमारा क्या कसूर था हम तो वहां लाखों रुपए खर्च कर कमाने के लिए ही तो गए थे।

अमृतसर आने के बाद एयरपोर्ट के सुरक्षा अधिकारियों ने सभी का वेरीफिकेशन किया यहां से इमिग्रेशन और कस्टम से क्लियरेंस मिलने के बाद इन्हें पंजाब पुलिस की सौंप दिया गया , साढ़े तीन घंटे बाद जब अमरीकी एयरफोर्स का विमान वापस लौट गया इसके बाद डिपोर्ट किए गए लोगों को उनके घर भेजने की प्रकिया प्रारम्भ हुई सबसे पहले पंजाब के लोगों को पुलिस की गाड़ियों में उनके घर रवाना किया गया।

अमेरिका की इमिग्रेशन एंड कस्टम इन्फोर्समेंट के मुताबिक अमेरिका में कुल 15 लाख ऐसे लोगों को चिन्हित किया गया है जो अवैध रूप से अमेरिका में रह रहे है उनमें से 20 हजार से अधिक अवैध भारतीय प्रवासी है जिन्हें डिपोर्ट किया जाना है खास बात है अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यह कार्यवाही ऐसे समय की जब भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 12 फरवरी को अमेरिका यात्रा पर जा रहे है बताया जाता हैं उनकी 13 फरवरी को ट्रंप के साथ वार्ता प्रस्तावित है।

बताया जाता है यूएस सैन्य विमान सी 17 ग्लोब मास्टर भारतीय समय अनुसार 4 फरवरी को सुबह 3 बजे अमेरिका के सैन एंटोनियो से रवाना हुआ था जो 44 घंटे बाद भारत पहुंचा। यह पहली दफ़ा है जब अमरीका ने अप्रवासियों को भेजने के लिए सेना के विमान का उपयोग किया। ट्रंप ने अमेरिका के राष्ट्रपति का पद सम्हालने के तुरंत बाद अवैध तरीके से रह रहे बाहरी देशों के लोगों को डिपोर्ट करने के आदेश दिए थे। खास बात है ट्रंप ने चुनाव से पूर्व अमरीका की जनता को ऐसा करने का वादा भी किया था ग्लोब मास्टर को भारत भेजे जाने में 6 करोड़ का खर्चा आया जो चार्टर्ड उड़ान से छह गुना ज्यादा है लेकिन भेजे जाने वाले भारतीय प्रवासियों के हाथों में हथकड़ी और पैरो में जंजीर की बेड़ियां पहनाने और इनको हिरासत में लेने के बाद और भारत रवाना करने के दौरान प्रताड़ित करने से कई सवाल उठ रहे है क्या अमरीका और ट्रंप डंकी के माध्यम से अमेरिका में अवैध रूप से प्रवेश करने वालो को एक संदेश देना चाहते है कि अब उनके खिलाफ और अधिक कड़ी कार्यवाही हो सकती है।

अमेरिका से डिपोर्ट होकर वापस आए भारतीय प्रवासियों के आने के बाद कई नई जानकारियां भी सामने आ रही है। अमेरिका ने अब तक बिना वैध दस्तावेज वाले 20.407 भारतीयों को चिन्हित किया हैं अवैध रूप से अमेरिका में दाखिल होने की बजह इन सभी को अवैध भारतीय प्रवासी कहा जा रहा है यह फायनल रिमूवल आदेश (बेदखली आदेश) के इंतजार में है इनमें 17.940 भारतीय बाहर है इनमें से कई के पैरों में डिजिटल ट्रेकर (एंकल मॉनिटर) लगाए गए है जिनकी लोकेशन इमिग्रेशन एंड कस्टम इन्फोर्समेंट 24 घंटे ट्रैक करती है यह लोग निर्धारित लोकेशन से बाहर नहीं जा सकते। जबकि 2.467 भारतीय आईसीई के डिटेंशन सेंटर में कैद है इन्हीं में से 104 को बीते दिन भारत डिपोर्ट किया गया है।

इधर विदेश मंत्रालय ने बताया है कि अमेरिका ने 487 अवैध अप्रवासी भारतीयों को भारत भेजने के लिए चिन्हित किया है उनमें से 297 लोगों के बारे में जानकारी दी गई है। जबकि विदेश सचिव विक्रम मिस्त्री ने बताया कि आगे हम इस बात का ख्याल रखेंगे कि अमेरिका से भारतीयों को भारत भेजते समय उनके साथ कोई दुर्व्यवहार नही होना चाहिए।यदि इस तरह का कोई मामला हमारे सामने आता है तो हम उसे अमेरिका के सामने उठाएंगे वही 4 फरवरी को भारत भेजते वक्त उनके साथ दुर्व्यवहार के मुद्दे को अमेरिकी अधिकारियों के सामने उठाया है। उन्होंने कहा कि निर्दोष लोगों को गुमराह करके अवैध रूप से भेजना कैंसर जैसी बीमारी है ऐसा करने वालों पर केस होना चाहिए। विदेश सचिव ने यह भी कहा, डिपोर्टेशन कोई नई बात नहीं है इसको लेकर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संसद में भी जबाव भी दिया है।

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अमेरिकाविदेश

लास वेगास में ट्रम्प होटल के पास टेस्ला साइबरट्रक में विस्फोट, चालक की मौत, 7 घायल

CyberTruck Blast near Trump Tower

लास वेगास/  नेवादा में ट्रम्प होटल के बाहर एक ईंधन कनस्तरों और आतिशबाज़ी से भरे टेस्ला साइबरट्रक में विस्फोट हो गया, जिसमें चालक की मृत्यु हो गई और सात लोग घायल हो गए। पुलिस के अनुसार, सभी घायलों की चोटें मामूली हैं। यह ट्रक कोलोराडो से किराए पर लिया गया था और बुधवार सुबह शहर में पहुंचा था, विस्फोट से लगभग दो घंटे पहले। वाहन होटल के शीशे के प्रवेश द्वार के पास खड़ा था, जहां से धुआं निकलने के बाद यह विस्फोट हुआ।

राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा कि व्हाइट हाउस इस घटना पर नजर रख रहा है और कानून प्रवर्तन एजेंसियां “न्यू ऑरलियन्स में हुए हमले” से किसी संभावित संबंध की जांच कर रही हैं, जिसमें नववर्ष के दिन 15 लोगों की मौत हुई थी। लास वेगास पुलिस विभाग के शेरिफ केविन मैकमहिल ने बताया कि अधिकारी यह जांच कर रहे हैं कि क्या यह घटना न्यू ऑरलियन्स की घटना से जुड़ी है, जहां घटनास्थल के पास इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस (IED) मिले थे। वे यह भी देख रहे हैं कि क्या इसका संबंध ट्रम्प होटल के मालिक डोनाल्ड ट्रम्प या टेस्ला के मालिक एलन मस्क से हो सकता है।

एफबीआई भी इस घटना को आतंकवाद के संभावित कृत्य के रूप में देख रही है, लेकिन अधिकारियों ने अभी तक चालक की पहचान की पुष्टि नहीं की है और इस्लामिक स्टेट (IS) से किसी संबंध के सबूत नहीं मिले हैं। शेरिफ मैकमहिल ने कहा, “साइबरट्रक, ट्रम्प होटल – स्पष्ट रूप से कई सवाल हैं जिनके जवाब हमें आगे बढ़ते हुए देने हैं।”

Source: BBC

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अमेरिकाविदेश

अमेरिका में नए साल का जश्न मना रहे लोगों पर चढ़ाया ट्रक, की फायरिंग, 12 की मौत 33 घायल

New Orleans Attack

लुइसियाना / लास वेगास अमेरिका के लुइसियाना के वार्बन स्ट्रीट में न्यू ईयर का जश्न मना रहे लोगों पर ट्रक चढ़ाकर उन्हें रौंद दिया गया, उसके बाद उसमें से उतरकर एक व्यक्ति ने भीड़ पर फायरिंग शुरू कर दी। इस घटना में 12 लोगों की मौत हो गई जबकि कुछ पुलिस कर्मियों सहित 33 लोग घायल हो गए है जिन्हें अलग अलग 5 हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया हैं। अब इस पर बहस छिड़ी है कि क्या यह आतंकवादी घटना थी?

भारतीय समय अनुसार यह बड़ी घटना 3 बजे दोपहर की है जबकि अमेरिका के न्यू आर्लियंस में उस समय रात के 3 बजकर 15 मिनट हुए थे शहर के सबसे भीड़ भाड़ वाले व्यस्ततम वार्बन स्ट्रीट पर हजारों लोग न्यू ईयर का जश्न मनाने में मशगूल थे अचानक एक गाड़ी तेजी से उस तरफ आई और लोग कुछ समझते वह भीड़ को रौंदती हुई आगे बढ़ती चली गई टक्कर लगने के बाद अगर तफरी के साथ भगदड़ मच गई, इस बीच एक शख्स उस पिकअप ट्रक से उतरा और उसने फायरिंग शुरू कर दी इस बीच मौके पर मौजूद पुलिस वालों को भी जवाबी फायरिंग करना पड़ी, मीडिया न्यूज मुताबिक वह व्यक्ति भी पुलिस फोर्स की गोली बारी में मारा गया।

इस घटना में कुल 12 लोग मारे गए जबकि पुलिस कर्मियों सहित करीब 33 लोग घायल हुए है जिन्हें अलग अलग 5 अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। इस घटना को मेयर लाटोया क्रांटेल ने आतंकी घटना बताया है लेकिन कुछ समय बाद FBI एजेंट ने इससे इंकार करते हुए कहा यह आतंकवादी घटना नहीं है हालांकि FBI ने यह जरूर कहा कि हम इस घटना की जांच वैसे ही कर रहे है जैसे किसी आतंकवादी घटना की करते है।

इधर डोनाल्ड ट्रंप का कहना है कि मैने पहले चेताते हुए कहा था कि देश में बहुत सारे क्रिमिनल आ रहे है तो डेमोक्रेटिक पार्टी और फेक मीडिया ने इसे नकारते हुए साफ इंकार कर दिया था लेकिन आज मेरी बात सच साबित हो रही है आज हमारे देश में अपराध की दर उस स्तर तक पहुंच गई है जहां इसे कभी किसी ने नहीं देखा था।

 

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T 20 वर्ड कप – भारत ने पाकिस्तान को 6 रन से हराया,119 के जबाव में पाक टीम 113 बना सकी ,पंत और बुमराह रहे जीत के हीरो

Bumrah and Rohit

न्यूयार्क/ भारत ने टी 20 वर्ड कप क्रिकेट में पाकिस्तान को 6 रन से शिकस्त दे दी है। भारत ने पहले खेलते हुए 119 रन बनाए थे जबाव में पाकिस्तान की टीम निर्धारित ओवर्स में 7 विकेट पर 113 रन ही बना सकी। केवल 14 रन देकर 3 विकेट अपने नाम करने वाले जसप्रीत बुमराह और बल्लेबाजी (42 रन) और विकेट कीपिंग में 3 कैच लेने वाले ऋषभ पंत जीत के हीरो रहे। इस तरह भारत ने पाकिस्तान पर फतह हासिल कर लगातार दूसरा मैच जीत लिया है।

पाकिस्तान ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला लिया। रोहित शर्मा और विराट कोहली ओपनिंग करने फील्ड पर उतरे। लेकिन भारत की शुरूआत खराब रही,जब भारत का स्कोर 12 रन था तो पहले कोहली (4 रन) उस्मान खान की बॉल पर आउट हों गए उसकी बाद रोहित 13 रन पर हारिस रऊफ की बॉल पर अफरीदी को कैच दे बैठे, 19 रन पर भारत दो विकेट खो चुका था लेकिन विराट के आउट होने पर आए ऋषभ पंत एक छोर पर जमे रहे उन्होंने अक्षर पटेल के साथ तेज रन बनाएं लेकिन अक्षर को नसीम शाह ने बोल्ड कर दिया दोनों के बीच 29 रन की सांझेदारी हुई।vउसके बाद क्रीज पर आए सूर्य कुमार यादव (7 रन) और शिवम दुबे (3 रन) जल्दी जल्दी चलते बने, सूर्य को हारिस रऊफ की बॉल पर मोहम्मद आमिर ने लपका और शिवम, नसीम शाह की बॉल पर लेग बिफोर आउट होकर पवेलियन वापस आ गए और भारत के 95 रन पर 5 विकेट गिर चुके थे लेकिन विकेट गिरने का सिलसिला रुका नहीं अगले ही ओवर में ऋषभ पंत जो अच्छा खेल रहे थे मोहम्मद आमिर की बॉल पर 42 रन (31 बॉल) बनाकर आउट हो गए।

उन्हें बाबर ने कैच किया और उसी 15 वे ओवर की अगली बॉल पर रविंद्र जडेजा को मोहम्मद आमिर ने शून्य पर आउट कर दिया लेकिन इसके बाद हार्दिक पांड्या को 7 रन पर अगली बोल पर जसप्रीत बुमराह को हारिस रऊफ ने और शून्य पर चलता कर दिया। पांड्या का कैच इफ्तिखार ने और बुमराह का इमाद वसीम ने लिया और भारत का स्कोर 9 विकेट पर 112 रन हो गया। जब स्कोर 119 था तो 19 वे ओवर की अंतिम गेंद पर अर्शदीप सिंह रन आउट हो गए, बाबर आजम के थ्रो पर मोहम्मद रिजवान ने उनकी गिल्लिया उड़ा दी और भारत एक ओवर पहले ही 119 रन पर ऑल आउट हो गया। मोहम्मद सिराज 7 रन पर नाबाद रहे।

पाकिस्तान के गैंदबाज नसीम शाह ने 4 ओवर में 21 रन देकर भारत के 3 बल्लेबाजों को आउट किया जबकि हारिस रऊफ ने 3 ओवर में 21 रन देकर 3 बल्लेबाजों को मोहम्मद आमिर ने 4 ओवर में 23 रन देकर 2 और 1 बल्लेबाज को शाहीन अफरीदी ने पवेलियन भेजा।

लग रहा था पाकिस्तान यह मैच आसानी से जीत जायेंगा और शुरु में यहीं हुआ,बाबर आजम और मोहम्मद रिजवान खेलने उतरे, लेकिन जब पाकिस्तान 5 वे ओवर में 26 रन पर था तो जसप्रीत बुनराह की बॉल पर सूर्य ने डाई लगाकर उन्हें लपक लिया। रिजवान का साथ देने उस्मान खान उतरे दोनो अच्छा खेल थे धीरे धीरे स्कोर को बड़ा रहे थे तभी रोहित शर्मा ने बोलिंग में तब्दीली की और एक तरफ से वे स्पिनर अक्षर पटेल को लाए उन्होंने उस्मान (13 रन) को लेग बिफोर आउट कर दिया। इसके बाद फखर जमान भी 13 रन के व्यक्तिगत स्कोर पर हार्दिक पांड्या की बॉल पर आउट हो गए उनको विकेट के पीछे ऋषभ पंत ने कैच किया पाकिस्तान 73 रन (12.2ओवर) पर 3 विकेट गंवा चुका था। इसके बाद बुमराह ने अपनी यॉर्कर लेंथ का कमाल दिखाया और रिजवान को बोल्ड आउट कर दिया।

रिजवान ने 31 रन की पारी खेली,17 वा ओवर पांड्या ने फैंका और तीसरी बॉल पर उन्होंने शादाब खान को पंत के हाथों पीछे कैच करा दिया और पाकिस्तान का, स्कोर 5 विकेट पर 88 रन का हो गया। क्रीज पर फखर जमान का साथ देने इफ्तिखार अहमद आए, लेकिन 102 के स्कोर पर पहले बुमराह ने 5 रन पर इफ्तिखार को आउट किया और यह ओवर टर्निग प्वाइंट साबित हुआ बुमराह ने 19 वे ओवर में केवल 3 रन दिए और एक विकेट भी लिया इफ्तिखार का कैच अर्शदीप ने लिया।अंतिम 20 वे ओवर में पाकिस्तान को जीत के लिए 18 रन की जरूरत थी और गैंदबाज थे अर्शदीप, उन्होंने पहली ही बॉल पर काफी समय से जमे इमाद वसीम (15 रन) को अपना शिकार बनाया,उनका कैच भी विकेट कीपर पंत ने लिया और इसाजे बाद आए नसीम शाह ने 2 चौके जरूर जड़े लेकिन पाकिस्तान निर्धारित 20 ओवर में 113 रन ही बना सकी और भारत ने 6 रन से यह मैच जीत लिया। नसीम शाह 10 रन और शाहीन अफरीदी शून्य पर नाबाद वापस आए।

भारत के सबसे सफल बॉलर रहे जसप्रीत बुमराह उन्होंने 4 ओवर में केवल 14 रन देकर पाकिस्तान के दोनों ओपनर सहित 3 बल्लेबाजों को आउट किया, उन्हें अलावा हार्दिक पांड्या ने 2 विकेट और अर्शदीप सिंह और अक्षर पटेल ने 1 – 1 विकेट लिया।

भारत की जीत में एक तरफ 3 विकेट लेने वाले जसप्रीत बुमराह का महत्वपूर्ण योगदान रहा तो दूसरी तरफ ऋषभ पंत ने भी डबल भूमिका निभाई उन्होंने अच्छी बल्लेबाजी करके सबसे अधिक 42 (31बॉल) बनाए और विकेट के पीछे भी कमाल दिखाते हुए 3 कैच भी लपके जिससे भारत जो बेकफुट पर था अंतिम ओवर्स में जीत के मुहाने पर पहुंचा और अंत में उसने 6 रन से जीत अर्जित की और टी 20 वर्ड कप में अपनी जीत का सिलसिला कायम रखा।

 

Image Credit: @ICC Twitter
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भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तीन दिवसीय यात्रा पर अमेरिका पहुंचे, अमेरिकी संसद को भी करेंगे संबोधित

pmmodi

न्यूयार्क / भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार देर रात अमेरिका पहुंच गए है पीएम मोदी की तीन दिवसीय यात्रा दोनों देशों के बीच मैत्री और कूटनीतिक स्तर पर काफी महत्वपूर्ण है इस दौरान वे अमेरिकी संसद को भी संबोधित करेंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का यह अमेरिका का पहला राजकीय दौरा हैं।

पीएम नरेंद्र मोदी मंगलवार देर रात अमेरिका के जॉन केनेडी एयरपोर्ट पर उतरे और उनका रेड कार्पेट बिछाकर स्वागत किया गया और अमेरिका के चीफ प्रोटोकॉल अधिकारी रूफस गिफर्ड, यूएन में भारतीय राजदूत रुभिरा कंबोज और अमेरिका में भारत के राजदूत तरनजीत सिंह संधू ने उनको रिसीव किया।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 21 जून को न्यूयार्क में आयोजित योग दिवस कार्यक्रम में शाम साढ़े पांच बजे हिस्सा लिया। 22 जून को पीएम नरेंद्र मोदी और जो बाइडेन के बीच द्विपक्षीय वार्ता होगी तदोपरांत पीएम मोदी अमेरिकी संसद को संबोधित करेंगे इसके अलावा ओवर हाउस में दोनों देशों के बीच वार्ता होगी। जबकि 23 जून को मोदी के सम्मान में व्हाइट हाउस में स्टेट डिनर होगा।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ मंत्रियों का एक दल सहित ट्रेड डेलीगेशन भी अमेरिका में रहेगा डेलीगेशन में अलग अलग सेक्टर के जैसे डिफेंस आईटी एविएशन और आर्टी फिशियल इंटेलीजेंस से जुड़े विशेष लोग भी होंगे। जबकि विदेश मंत्री एस जयशंकर और एनएसए अजीत ढोबाल का अमेरिका जाना भी निश्चित माना जा रहा हैं। इस दौरे में भारत और अमेरिका के बीच डिफेंस टेक्नोलोजी स्ट्रेटेनिक और बिजनेस डील होंगी साथ ही प्रधानमंत्री मोदी अमेरिकी कंपनियों CEO’s से भी मुलाकात करेंगे।

खास बात है नरेंद्र मोदी वह पहले भारतीय प्रधानमंत्री होंगे जिनकी मेजबानी अमरीका के तीन राष्ट्रपतियों (बराक ओबामा डोनाल्ड ट्रंप और जो बाइडेन) ने की हो। इसके अलावा मोदी पूर्व ब्रिटिश पीएम विंटन चर्चिल दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति नेल्सन मंडेला और यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेस्की की तरह अमेरिकी कांग्रेस के सत्र को एक से ज्यादा बार संबोधित करेंगे।

पीएम नरेंद्र मोदी से पहले भारत के पहले प्रधानमंत्री प. जवाहर लाल नेहरू देश की आजादी के बाद सन 1949 में, प्रधानमंत्री राजीव गांधी 13 जुलाई 1985 में, पीवी नरसिम्हाराव 18 मई 1994 को, प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई 14 सितंबर 2000 में, और भारत के प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह 19 जुलाई 2005 को अमेरिकी संसद को संबोधित कर चुके है। अंतराष्ट्रीय योग दिवस पर मोदी की मौजूदगी में एक रिकार्ड बना करीब 100 से अधिक देशों के लोगों ने एकसाथ योग किया।

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विख्यात लेखक सलमान रुश्दी पर हमला, हालत गंभीर, वेंटीलेटर पर, “द सेंटेनिक वर्सेज” किताब से आए विवादों में

Salman Rushdi

न्यूयार्क / अमेरिका के न्यूयार्क में एक लाइव कार्यक्रम के दौरान हमले में घायल सुप्रसिद्ध लेखक सलमान रुश्दी की हालत गंभीर बनी हुई है और पिछले 12 घंटे से वे वेंटीलेटर पर है डाक्टरों के मुताबिक उनकी एक आंख खराब होने का खतरा भी पैदा हो गया है। जैसा कि रुश्दी अपने एक उपन्यास “द सेटेनिक वर्सेज” से विवादों में आए थे और 33 साल पहले ईरान के एक धार्मिक नेता ने उन्हें जान से मारने का फतवा जारी किया था।

12 अगस्त को न्यूयार्क में एक कार्यक्रम में शामिल सलमान रुश्दी जब मंच की ओर बढ़ रहे थे तभी एक 24 वर्षीय युवक हादी मातन एकाएक मंच की लपका और उसने उनपर चाकुओं से हमला कर दिया था और उनके शरीर पर उसने इस धारदार हथियार से 10 से 15 बार किए जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गए इस बीच वहां मोजूद लोग दौड़े आए और बाद में जख्मी रुश्दी को एयर लिफ्ट कर एक अस्पताल में भर्ती कराया गया । बताया जाता है उनकी हालत गंभीर है और पिछले 12 घंटे से वह वेंटीलेटर पर है उनकी चिकित्सा कर रहे डाक्टरों के मुताबिक उनकी एक आंख का खराब हो जाने का खतरा भी है। जबकि पुलिस ने हमलावर हादी मातन को गिरफ्तार कर लिया हैं।

सन 1988 में सलमान रुश्दी ने द सेंटेलिक वर्सेज नाम की किताब लिखी थी सेंटेलिक वर्सेज का हिंदी अर्थ होता है शैतान की आयतें जिससे इनपर पैगंबर की बेअदबी का आरोप लगा और लोगो ने इस किताब को लेकर गहरी आपत्ति जताई इस दौरान 1989 में ईरान के इस्लामिक क्रांति के नेता अयातुल्ला खुमेनी ने उनके खिलाफ मौत का फतवा जारी किया था।

जबकि 3 अगस्त 1989 को सेंट्रल लंदन के एक होटल RDX से विस्फोट करके सलमान रुश्दी को मारने की कोशिश हुई लेकिन वह बाल बाल बच गए हुआ यू कि एक युवक मानव बम बनके होटल में दाखिल हुआ था और उसने विस्फोट कर रुश्दी को उड़ाने की नाकाम कोशिश की थी। लेकिन 10 साल बाद 1998 में ईरान की सरकार ने सार्वजनिक तौर पर कहा था कि अब वह सलमान रुश्दी की मौत का समर्थन नहीं करते।

लंदन की घटना के बाद रुश्दी गोपनीय तरीके से पुलिस के संरक्षण में जिंदगी गुजारने लगे लेकिन इस बीच 2006 में हिजबुल्ला आतंकी संगठन के प्रमुख ने कहा कि सलमान रुश्दी ने ईश निंदा की है और उसका बदला लेने के लिए करोड़ों मुस्लिम तैयार है। वहीं 2010 में आतंकी संगठन अलकायदा ने जो हिट लिस्ट जारी की उसमें भी रुश्दी का नाम शामिल था और उन्हे इस्लाम धर्म के अपमान पर मारने की बात कही गई थी।

इन दिनों सलमान रुश्दी न्यूयार्क सिटी में पहले से ज्यादा आराम और आजाद जिंदगी जी रहे थे जबकि 2019 में वे अपने एक नोबल को प्रमोट करने के लिए मेनहटन के एक प्राइवेट क्लब में खुदाई दिए जहां वे काफी खुलकर बात करते नजर आए और डिनर में भी शामिल हुए।

द सेंटेनिक वर्सेज किताब के विवाद में अभी तक 59 लोगों की मौत हो चुकी है जिसमें इस किताब के प्रकाशक और उसका दूसरी भाषा में अनुवाद करने वाले लोग भी शामिल हैं।

सलमान रुश्दी का जन्म मुंबई में 19 जून 1947 को हुआ था उनका परिवार कश्मीरी मुस्लिम था इनके जन्म के बाद इनका परिवार ब्रिटेन शिफ्ट हो गया और भारतीय मूल के रुश्दी ने अपनी स्कूली शिक्षा इंगलैंड के रग्बी स्कूल में और आगे की पढ़ाई केब्रीज विश्वविद्यालय में पूरी की 1968 में हिस्ट्री में एमए किया 1970 में विज्ञापन एजेंसी में राइटर की नोकरी की।

सलमान रुश्दी की लिखी अभी तक 30 किताबे आ चुकी है 1975 में उन्होंने पहली किताब ग्राईमस लिखी उनके दूसरे उपन्यास मिड नाइट्स चिल्ड्रन के लिए उन्हें 1981 में बुकर और 1983 में बेस्ट ऑफ द बुकर्स पुरुष्कार से सम्मानित किया गया था।

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