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राजस्थान के भरतपुर से दो युवकों का अपहरण, भिवानी में बोलेरो में जले मिले शव, 5 गिरफ्तार

Kidnap

भरतपुर, भिवानी/ राजस्थान के भरतपुर इलाके से दो युवकों को कुछ लोगों ने अगवा किया बाद में उनके जले हुए शव हरियाणा के भिवानी में उनके ही वाहन में मिले हैं संभावना है कि गौतस्करी के शक में इन दोनों को अगवा किया गया था। हरियाणा पुलिस ने कंकाल के रूप में दोनों युवकों के शवों को राजस्थान पुलिस को सौंप दिया है। पुलिस ने इस मामले में फिलहाल 5 युवकों को गिरफ्तार किया है और उनसे पूछताछ कर रही है।

हरियाणा के भिवानी के गांव लोहारू के पास शुक्रवार को एक बुलेरों वाहन बुरी तरह जली हुई स्थिति में मिला था पुलिस ने मालूम होने पर जब घटना स्थल जाकर जांच की तो जले हुए वाहन में दो मानव कंकाल उसे मिले तत्काल पुलिस इन शवों की पहचान नहीं कर सकी क्यों कि वाहन और उसकी नंबर प्लेट पूरी तरह जल कर खाक हो चुकी थी बाद में पुलिस ने गाड़ी की चेसिस नंबर देखा और उसकी तफ्तीश करने पर खुलासा हुआ यह बाहर राजस्थान का था।

बाद में जानकारी मिली कि इस बॉलरो में 15 फरवरी को सुबह 6 बजे नासिर और जुनेद नामक दो युवक जो दोस्त थे घाटमीका गांव स्थित अपने घर से निकले थे और उनका कुछ लोगों ने अपहरण कर लिया था इनके परिजनों ने इसकी रिपोर्ट भरतपुर थाने में दर्ज कराई थी। लेकिन दो दिन बाद इनका वाहन 150 किलोमीटर दूर हरियाणा में मिला।

हरियाणा पुलिस ने इन कंकाल के रूप में मिले शवों के बाद फिलहाल धारा 174 के तहत आत्महत्या आदि मामलों में प्रकरण दर्ज किया है साथ ही इन शवों को राजस्थान पुलिस को सौप दिया है शव मिलने पर राजस्थान पुलिस ने अपहरण के साथ अब हत्या का मामला भी दर्ज कर लिया है। साथ ही भरतपुर पुलिस ने मृतक युवकों के परिजनों की शिकायत पर 5 संदिग्ध आरोपियों मोनू मानेसर सहित अनिल श्रीकांत रिंकू सैनी और लोकेश सिंघला को गिरफ्तार कर लिया है बताया जाता है यह बजरंग दल के नेता है इन्होंने ही जुनेद और नासिर का अपहरण किया था ऐसा परिजनों का कहना है। जबकि जुनेद पर पहले से 5 गौ तस्करी के मामले दर्ज है। भिवानी के एसपी अजीत सिंह शेखावत के मुताबिक बोलेरों के संबंध में राजस्थान के गोपालगढ़ थाने में बुद्धवार को मुकदमा दर्ज हुआ था साथ ही घाटामीका निवासी इस्माइल ने पुलिस में शिकायत की थी कि बुद्धवार सुबह दोनों को 8 …10 लोगों ने पिरूका के जंगल पीटा और अपहरण कर के गए उन्होंने बताया दोनों नरकंकालो के पुलिस ने सैंपल लिए है जो जांच के लिए भेजे है।

खास बात है अपहरण का मामला दर्ज होने के बाद भी राजस्थान पुलिस लगता है हाथ पर हाथ धरे बैठी रही उसने इन युवकों को खोजने की कोई जहमत नहीं उठाई यदि पुलिस सक्रियता दिखाती तो हो सकता है मारे गए युवक मिल जाते और उनकी जान बच जाती। वहीं हरियाणा पुलिस की कार्यवाही पर भी सबालिया निशान लगते है उसके इलाके में दो लोगो को जलाकर मार दिया गया और उसने खानापूरी के लिए आत्महत्या का केस दर्ज कर मामले की इति श्री कर ली।

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देशराजस्थान

कांग्रेस का कड़ा रुख, कहा पीएम चुप्पी तोड़े भारत जोड़े, सरकार ने बांधे सेना के हाथ, विपक्ष में विश्वास नही, संसद में बहस नहीं

Pawan Kheda

दौसा (राजस्थान)/ कांग्रेस नेता राहुल गांधी के चीन को लेकर बयान पर भाजपा के आरोपों को लेकर कांग्रेस ने आज कड़ा रुख अख्तियार करते हुए चीन मामले को लेकर उल्टा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी सरकार को कटघरे में खड़ा कर दिया हैं। कांग्रेस ने “प्रधानमंत्री चुप्पी तोड़े, भारत जोड़े” का नारा देते हुए उनपर तंज कसा की एक वीर सेना को कायर नहीं बल्कि मजबूत राजा चाहिए।

कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने कहा कि भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जिन्होंने पहले और पीएम रहते चीन के 9 बार दौरे किए वह बताए कि चीन के उनके क्या रिश्ते है क्या वह चीन के किसी दबाव में हैं। उन्होंने आरोप लगाया आरएसएस के लोग चीन से बातचीत करते है घंटो बैठक करते है बीजेपी नेता चीन के पोर्ट्स स्कूल में ट्रेनिग लेने जाते है वह कम्युनिस्ट स्कूल में क्या सीखने जाते है मालूम नही मोदी को चीन परस्त बताते हुए उन्होंने कहा प्रधानमंत्री बताए चीन से आपके और बीजेपी के क्या रिश्ते हैं।

कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने कहा एक वीर सेना और एक कायर राजा यह आज हमारे देश की कहानी है हमारी आपत्ति इस कायर राजा से है जिसने सेना के हाथ बांध दिए हैं यही वजह है भारत सरकार चीन के खिलाफ कुछ नही कर पा रही है। हमारी मजबूत सेना को आज एक मजबूत राजा की ज़रूरत है।

कांग्रेस प्रवक्ता ने आगे कहा कि जयराम रमेश ने एक नारा दिया है प्रधानमंत्री चुप्पी तोड़े ,और भारत जोड़े, उन्होंने कहा प्रधानमंत्री बताएं विवेकानंद फाउंडेशन और इंडिया फाउंडेशन के चीन से क्या संबंध है और विदेश मंत्री के पुत्र जिस फाउंडेशन में काम करते है चीन उसे करोड़ों का अनुदान बार बार क्यों देता हैं।

कांग्रेस के मीडिया प्रभारी जयराम नरेश ने मीडिया से चर्चा में कहा चीन बार बार घुसपैठ करता है लेकिन क्या कारण है सरकार उसपर कुछ नही बोलती। उल्टा बीजेपी सरकार कहती है बार्डर पर भारत इंफ्रास्ट्रेकचर तैयार कर रहा है इसलिए चीन बौखला गया हैं लेकिन इससे पहले अकेले अरुणाचल प्रदेश और बार्डर पर 87 _ 88 के साथ मनमोहन सिंह के कार्यकाल में 2 हजार किलोमीटर रोड बनी, ट्रांस हाईवे शुरू हुआ 6 एडवांस लैंडिंग हाईवे बने और माउंटेन स्ट्राइक किड्स शुरू की गई राजीव गांधी के समय जनरल सुंदरजी ने ऑपरेशन फेल्कन शुरू किया 1986 में फ्लैट मीटिंग हुई चीन बार्डर से पीछे हटा कांग्रेस ने ही अरुणाचल को अलग प्रदेश का दर्जा देकर इसको सुरक्षा प्रदान की।

जयराम नरेश ने आरोप लगाया कि ना तो कांग्रेस और विपक्ष को संसद में बोलने दिया जाता ना ही विपक्ष से सरकार कोई चर्चा कर उसके सुझाव ही लेना चाहती है लगाता है हम मोदी सरकार की निगाह में अनपढ़ और देश द्रोही है लेकिन इससे पहले 2098 से 2002 के बीच इंदर कुमार गुजराल, देवागोड़ा और अटल बिहारी बाजपेई के कार्यकाल में भी चीन ने हावी होने की कोशिश की लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं होने दिया और विपक्ष ने भी उनका साथ दिया जिससे चीन पर दबाव बना और हर स्तर पर उससे हमारे संबंध भी बेहतर हुए। इससे पहले चीन मामले में पंडित नेहरू इंदिरा गांधी राजीव गांधी नरसिंहाराव की मौजूदगी में संसद में बहस होती रही है। जयराम नरेश ने कहा लेकिन 2020 के बाद तो चेप्टर ही बदल गया और चीन हमारी जमीन पर बड़ता चला गया पहले हम जहां बार्डर के प्वाइंट 4 से 1 तक पेट्रोलिंग करते थे अब केवल 4 पर सीमित हो गए हैं। साथ ही हमारे प्रधानमंत्री ने ऑल पार्टी मीटिंग में चीन को क्लीन चिट दे दी जिससे हमारी चीन के खिलाफ बार्गनिंग कम होती चली गई। उन्होंने कहा अरुणाचल प्रदेश के बार्डर पर चीन से विवाद के मामले में प्रधानमंत्री को पहल कर स्थिति से अवगत कराने के साथ विपक्ष को विश्वास में लेना चाहिए। कांग्रेस नेता ने कहा चीन में जो भारतीय राजनायिक विशेषज्ञों से वह चाहे चंद्रशेखर राव मेजर जनरल सगर सिंह हो या श्याम शरण या अन्य उनसे प्रधानमंत्री बात कर चीन से निपटने के लिए कूटनीतिक सुझाव ले सकते हैं लेकिन प्रधानमंत्री मोदी ने ऐसा कुछ नही किया।

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जयपुरराजस्थान

जयपुर में जघन्य वारदात, हत्या कर बड़ी मां के ग्राइंडर से दस टुकड़े किए और जंगल में फैंके, कीर्तन में नहीं जाने से नाराज इंजीनियर भतीजे की हैवानियत

Crime scene do not cross

जयपुर / राजस्थान के जयपुर में एक भीषण और दुर्दांत हत्याकांड सामने आया है जिसने एक बार फिर श्रद्धा हत्याकांड की याद ताजा करदी हैं एक इंजीनियर युवक ने छोटी सी बात से नाराज होकर अपनी बड़ी मां यानि ताई की पहले हत्या की और उसके बाद बड़ी बेरहमी से इनके मृत शरीर के कटर से 10 टुकड़े किए और उन्हें एक एक कर ठिकाने लगा दिया। तफ्तीश के बाद पुलिस ने 5 दिन बाद इस निर्मम हत्यारे को गिरफ्तार कर लिया है साथ ही महिला के शव के 8 टुकड़े भी बरामद कर लिए है लेकिन पुलिस अभी दो टुकड़े बरामद नही कर पाई है।

दिल हिला देने वाली यह घटना जयपुर के विद्धानगर इलाके के लालापुरिया अपार्टमेंट की है यहां रहने वाले एक इंजीनियर युवक अंचित्य उर्फ अनुज शर्मा ने अपनी 64 साल की ताई सरोज शर्मा के सिर पर हथौड़ा मारकर पहले उनकी हत्या कर दी उसके बाद चाकू से उनके मृत शरीर के जब टुकड़े नहीं कर सका तो बाजार से पद्रह सौ रूपये में मार्बल काटने वाला कटर अर्थात ग्राइंडर लेकर आया और उससे उसने बड़ी बेरहमी से शव के 10 टुकड़े किए और उन्हें प्लास्टिक में बांध कर एक सूटकेस और बाकी बाल्टी में पैक कर दिया और दोपहर करीब साढ़े तीन बजे गूगल मैप पर लोकेशन खोज कर मृतका के शरीर के भागों को जयपुर से 12 किलोमीटर दूर दिल्ली रोड स्थित जंगल और अन्य 4 जगहों पर फैंक दिए।

जयपुर के डीसीपी नॉर्थ परिस देशमुख के मुताबिक आरोपी अनुज शर्मा उर्फ अंचित्य गोविंददास शर्मा मूल रूप से अजमेर का रहने वाला है और फिलहाल उसका परिवार जयपुर के विद्याधर नगर के लालापुरिया अपार्टमेंट में रह रहा था 11 दिसंबर को आरोपी के पिता और बहन उसके लिए लड़की देखने इंदौर गए थे इस बीच आरोपी अनुज ने अपनी वृद्धा ताई सरोज से दिल्ली कीर्तन में शामिल होने के लिए साथ चलने को कहा लेकिन ताई के मना करने के बाद उनमें आपस में झगड़ा हुआ और गुस्से में आकर अनुज ने अपनी ताई सरोज की सिर पर हथौड़ा मारकर हत्या कर दी।

बताया जाता है सरोज शर्मा केंसर से पीड़ित है और उसके पति की कोरोना से मौत हो गई इसकी दो बेटियों पूजा और मोनिका की शादी हो चुकी है जबकि बेटा अमित इंजीनियर है जो पत्नी के साथ कनाडा में रहता है पति की मौत से वह अकेली अजमेर में रहती थी बीमारी के कारण इलाज के लिए अनुज के पिता और इनके देवर बद्रीप्रसाद अपनी वृद्धा भाभी को अपने घर जयपुर ले आएं थे तभी से वह बद्रीप्रसाद उसके बेटे और बेटी के साथ यहां रह रही थी।

बताया जाता है अनुज शर्मा कंप्यूटर इंजीनियर है उसने एक साल दिल्ली में जॉब भी की इस बीच 2013 में उसने इस्कॉन मंदिर में दीक्षा ली और हरे कृष्णा ग्रुप से जुड़ गया तभी से वह धार्मिक कार्यक्रमों में शामिल होने दिल्ली और हरिद्वार जाने लगा। 11 दिसंबर को सुबह करीब 11 बजे दिल्ली कीर्तन ने शामिल होने को लेकर अपनी ताई से विवाद हुआ और उसने हथौड़ा मारकर इस जघन्य हत्याकांड को अंजाम दिया।

अनुज ने अपनी ताई सरोज शर्मा के हत्या के बाद उनके शव को बाथरूम में पटक दिया बाद में शव को ठिकाने लगाने के लिए पहले वह नेशनल हेंडलूम से एक बड़ा चाकू खरीद कर लाया लेकिन हड्डी के कारण शव के छोटे टुकड़े नहीं होने के बाद वह फिर बाजार गया और हार्डवेयर की दुकान से 15 सौ रूपये में टाइल्स काटने का ग्राइंडर (कटर) लेकर आया और उसके बाद शव के उसने ताई के मृत शरीर के 10 टुकड़े किए।

पुलिस पूछताछ में सामने आया कि आरोपी अनुज ने शरीर के टुकड़े करने के बाद उन्हें सूटकेस और बाल्टी में पैक किया और दोपहर साढ़े तीन बजे कार में रखकर उन्हे दिल्ली हाईवे की गूगल मैप पर लोकेशन लगाकर रवाना हों गया, और शवों के टुकड़ों को बारी बारी से सड़क के किनारे से लगे जंगल एक वन चौकी और फार्म हाऊस के पास गड्डे में दबाकर उनके ऊपर मिट्टी डाल दी। और रात 8 बजे घर वापस आया इस बीच उसने बीच में एक ट्राउजर खरीद कर भी पहना,उसकी धोती पर खून के दाग थे उन्हे भी घर आकर पानी से धोया।

पुलिस के मुताबिक परिजनों ने पहले सरोज शर्मा की गुमशुदगी का मामला दर्ज कराया था बाद में जब कपड़ों पर खून के दाग मिले तो परिजनों को शक हुआ जब यह बात पुलिस पर पहुंची तो तफ्तीश और पूछताछ में 5 दिन बाद इस बीभत्स हत्याकांड का खुलासा हुआ और आरोपी भतीजा पुलिस की गिरफ्त में आया। भतीजे अनुज ने अपनी ताई के शव के 10 टुकड़े किए थे जिसमें सिर धड़ पैर सहित अन्य अंग शामिल थे इनमें से पुलिस ने 8 अंगों को बरामद कर लिया है जबकि दो भाग फिलहाल नहीं मिले है आरोपी कुछ अंगों को नाली में डालने की बात कह रहा है। पुलिस लगातार जांच और तलाश में लगी हैं।

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जयपुरदेशराजस्थान

“भारत जोड़ों यात्रा ” के सौ दिन पूरे, सड़क पर सच्चाई मिली चीन से झड़प पर राहुल गांधी का मोदी सरकार पर हमला

Rahul Gandhi - Bharat Jodo Yatra PC

जयपुर / भारत जोड़ो यात्रा इन दिनों राजस्थान में है आठ राज्य से होकर गुजरी इस पदयात्रा में राहुल गांधी और अन्य पदयात्री अभी तक 2800 किलोमीटर चल चुके है गत रोज दौसा से जयपुर पहुंची यह भारत जोड़ों यात्रा अब 100 दिन पूरे कर चुकी है। इस दौरान दौसा सहित अन्य क्षेत्रों में यात्रा का ऐतिहासिक स्वागत हुआ । इस दौरान मीडिया से रूबरू होते हुए राहुल गांधी ने कहा यात्रा के दौरान वे आम लोगों की सच्चाई से रूबरू हुए ,तवांग बॉर्डर पर चीन और भारतीय सैनिकों के बीच झड़प पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए राहुल गांधी ने मोदी सरकार पर खुलकर हमला बोला।

कन्याकुमारी से 7 सितंबर को शुरू हुई “भारत जोड़ों यात्रा” अब आठ प्रांतों का भ्रमण कर चुकी है केरल कर्नाटक आंध्र प्रदेश तामिलनाडू मध्यप्रदेश होती हुई राजस्थान में एंट्री कर चुकी है और शुक्रवार को जब यह दौसा से होती हुई जयपुर को निकली तो इस यात्रा को पूरे 100 दिन हो चुके है और राहुल गांधी और उनके साथ चल रहे पदयात्रियों ने कुल 2800 किलोमीटर की यात्रा पूरी कर ली हैं। खास बात रही कि राजस्थान में भारत जोड़ो यात्रा के साथ भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन भी जुड़े और वे राहुल गांधी के साथ यात्रा में शामिल ही नहीं हुए बल्कि उनकी राहुल गांधी के साथ देश के प्रमुख मुद्दों पर वन टू वन चर्चा भी हुई।

इस अवसर पर आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि इस यात्रा के जरिए जब हम सड़क पर आम लोगों से मिले तो सच्चाई सुनाई पड़ी उन्होंने कहा कांग्रेस महात्मा गांधी के बताएं रास्ते पर चलती है जबकि आरएसएस और बीजेपी का काम बदनाम करना है उन्होंने कहा हमने कभी विचाराधारा से समझोता नही किया और जब हम और आमलोग कांग्रेस और उसकी विचाराधारा को समझ जाएंगे तो हमे देश हित में कोई भी शक्ति आगे बड़ने से रोक नहीं सकती उन्होंने कहा लोग बोलते है और हम सुनते है लोग महंगाई बेरोजगारी से परेशान है और यह यात्रा बीजेपी के फैलाएं गए डर और नफरत के खिलाफ है जबकि निचले स्तर पर आज भी आपसी प्यार और भाईचारा कायम हैं।

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने एक सबाल पर कहा कि आने वाले समय में कांग्रेस ही वह राष्ट्रीय पार्टी है जो बीजेपी को हरायेगी उन्होंने यह भी कहा राजस्थान में कांग्रेस फिर आसानी से जीतेगी और फिर से सत्ता में आयेगी।

तवांग में चीनी सेना से भारतीय सेना की झड़प पर राहुल गांधी ने तीखी प्रतिक्रिया देते हुए मोदी सरकार पर खुलकर हमला बोला और कहा चीन का खतरा एकदम साफ है चीन युद्ध की तैयारी कर रहा है लेकिन सरकार कुछ छुपा रही है तो कुछ मुद्दे नजर अंदाज कर रही है उन्होंने कहा चीन का अरुणाचल में पूरा ऑपरेशन चल रहा है हमारे सैनिक पिट रहे है और सरकार सो रही हैं।

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राजस्थान के भिवाड़ी से तीन मासूम भाई अगवा, दो की निर्मम हत्या दिल्ली के महरौली के जंगल मिले शव, दो आरोपी गिरफ्तार

Murdered

अलवर/ राजस्थान के अलवर जिले के भिवाड़ी में दिल दहलाने वाला अपराधिक मामला सामने आया है यहां से तीन मासूम भाइयों को फिरौती के लिए अगवा किया गया जिसमें दो की बड़े ही निर्मम तरीके से हत्या कर दी गई और आरोपियों ने उनके शव दिल्ली के महरौली के जंगल में फेंक दिए। राजस्थान की क्राइम ब्रांच पुलिस ने दिल्ली पुलिस की मदद से दोनों शवों को बरामद करने के साथ तीसरे सबसे छोटे बच्चे को भी बरामद कर लिया है पुलिस ने इस खूनी वारदात में शामिल दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया हैं।

राजस्थान के भिवाड़ी में साथलका इलाके में स्थित लेबर कॉलोनी में किराए के मकान में रहने वाले ज्ञान सिंह सब्जी का ठेला लगाते है 14 अक्टूबर को जब वे अपने घर पहुंचें तो उनके तीन छोटे बच्चें नही मिले खोजबीन करने के बाद 15 अक्टूबर को उन्होंने स्थानीय ART एरिया फेज 2 थाने में बच्चों की गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखाई तफ्तीश करने पर उसे अपहरण में तब्दील कर दिया गया पुलिस को जांच के में मालूम पड़ा अंतिम समय में बच्चों को इसी कॉलोनी में रहने वाले महावीर तेली और मंजा कुमार के साथ देखा गया था पुलिस ने आसपास के सीसीटीवी खंगाले तो इसकी पुष्टि हुई पुलिस ने इन दोनो आरोपियों को 17 अक्टूबर को हिरासत में लेकर कड़ी पूछताछ की शुरूआत में यह पुलिस को गुमराह करते रहे लेकिन जब पुलिस ने सख्ती दिखाई तो यह टूट गए और पुलिस को बताया कि उन्होंने बच्चों की हत्या कर उनके शव दिल्ली के महरौली के जंगल में फेंक दिए हैं।

बताया जाता है यह दोनों आरोपी नशे के आदी है और इनपर 8 लाख का कर्जा था बच्चों को अगवा कर यह इनके पिता से फिरौती की फिराक में थे यह बच्चों को बहला फुसला कर अपने साथ ले गए थे लेकिन यह कुछ करते इससे पहले ही पूरा मामला सामने आ गया। इन्होंने दो बच्चों अमन (12 साल) और विपिन ( 8 साल) को बड़ी बेरहमी से मार डाला पहले दोनो का गला दबाया फिर उनके चेहरों को पत्थर से कुचल दिया। लेकिन इस बीच तीसरा छोटा 6 वर्षीय शिवा उनका ध्यान हटने पर भाग गया और उसे सड़क पर एक आदमी ने पास की पुलिस चौकी पहुंचाया जहां उसने अपना अपने पिता का नाम बताया। पुलिस ने उस समय शिवा को चाइल्ड सेंटर भेज दिया।

इधर राजस्थान की क्राइम ब्रांच पुलिस दिल्ली पहुंची और दिल्ली पुलिस की सहायता से उसने दोनों आरोपियों की निशानदेही पर कुतुबमीनार स्टेशन के नजदीक मेहरोली के जंगल से 18 अक्टूबर को दोनो बच्चो के क्षतविक्षत शव बरामद कर लिए। इस बीच तीसरे बच्चें की जानकारी सामने आने पर दिल्ली पुलिस ने शिवा के बारे में राजस्थान पुलिस को बताया और बाद में दिल्ली पुलिस उसे भी चाइल्ड सेंटर से राजस्थान पुलिस को सौप दिया।

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जयपुरदिल्लीराजस्थान

गहलोत ने चुनाव लड़ने से किया इंकार कहा राजस्थान में जो हुआ उससे मैं दुखी और आहत हूं सोनिया जी से माफी मांगी

Ashok Gehlot

जयपुर/दिल्ली/ कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी और राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बीच करीब डेढ़ घंटे की महत्वपूर्ण मुलाकात के बाद मीडिया से बातचीत में गहलोत ने कहा कि अब मैं राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव नही लडूंगा और जहां तक राजस्थान के मुख्यमंत्री का सबाल है सोनिया गांधी जो तय करेंगी वह उन्हें मान्य होगा। लेकिन गहलोत की बॉडी लैंग्वेज और उतरे चहरे से साफ लगा कि वे बेक फुट पर है और राजस्थान की घटना को लेकर सोनिया उनसे काफी नाराज भी हैं।

मैं सीएम रहूंगा या नहीं सोनिया गांधी तय करेंगी…

राजस्थान के घटनाक्रम को करीब 48 घंटे बीत गए हैं आज राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से मिलने 10 जनपथ पहुंचे, 12 बजे बाद शुरू हुई यह चर्चा डेढ़ घंटे तक चली। उसके बाद अशोक गहलोत और कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने सयुक्त रूप से मीडिया से चर्चा की गहलोत ने बताया कि पहले हाईकमान के कहने पर वे कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव लड़ने को तैयार थे लेकिन दो तीन दिन के दौरान राजस्थान में जो घटा उसके बाद अब वह अध्यक्ष का चुनाव किसी भी हालत में नहीं लड़ेंगे और जहां तक उनके राजस्थान का मुख्यमंत्री रहने ना रहने का सवाल है।

इस बारे में हमारी अध्यक्ष सोनिया गांधी जो भी निर्णय लेंगी वह उन्हें मान्य होगा मैं सीएम रहूंगा या नहीं यह फैसला अब मैं सोनिया जी पर छोड़ता हूं। उन्होंने यह भी कहा कि राजस्थान में विधायकदल की बैठक के दौरान जो कुछ भी हुआ उससे मैं काफी दुखी और आहत हूं और जो हुआ उसके लिए मैने उनसे माफी मांग ली हैं।

राजस्थान के सीएम का फैसला एक दो दिन में …

कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव निर्धारित प्रक्रिया के तहत होगा 30 सितंबर को नामांकन के साथ साफ हो जायेगा कि कोन कोन चुनाव लड़ेगा उन्होंने मीडिया के सवाल पर कहा राजस्थान के सीएम का मुद्दा एक दो दिन में सुलझ जाएगा।

पायलट की चुप्पी क्या रंग लायेगी …

खास बात है राजस्थान में इतना बड़ा सियासी घमासान छिड़ा लेकिन इस दौरान मुख्यमंत्री पद की लाइन में सबसे आगे खड़े सचिन पायलट पूरी तरह खामोश रहे मीडिया के पूछने के बावजूद उन्होंने मुंह नही खोला और वह जयपुर और दिल्ली की दौड़ जरूर लगाते रहे आज उनकी सोनिया गांधी से भी मुलाकात हुई मुलाकात के बाद मीडिया से उन्होंने कहा मेने अध्यक्षा को फीड बेक दिया है और राजस्थान में 2023 के चुनाव में हम सब मिलकर काम करेंगे। लेकिन मुख्यमंत्री बनने के सवाल को टाल गए। अब क्या सचिन पायलट राजस्थान के मुख्यमंत्री बनेंगे या नहीं फिलहाल यह दो दिन बाद ही साफ होगा।

बयानवीरों को लेकर एडवाइजरी जारी …

जबकि कांग्रेस महासचिव वेणुगोपाल ने राजस्थान को लेकर एक एडवाइजरी भी जारी की है जिसमें कहा गया कि कोई भी नेता एक दूसरे के खिलाफ कोई बयान नहीं देंगे साथ ही पार्टी के अंदरूनी मसलों में भी कोई नेता सार्वजनिक तौर पर कुछ नही कहेगा यदि ऐसा पाया जाता है तो उस नेता के खिलाफ कड़ी अनुशासनात्मक कार्यवाही की जायेगी।

थरूर और दिग्विजय अध्यक्ष की दौड़ में …

इधर कांग्रेस के अध्यक्ष पद के चुनाव में फिलहाल दो नाम सामने आए है शशि थरूर पहले ही चुनाव लड़ने की घोषणा कर चुके है जबकि राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह दूसरे केडीडेट के रूप में मैदान में होंगे आज उन्होंने बताया कि नामांकन पत्र ले लिया है और कल अंतिम दिन वे उसे जमा करेंगे इस तरह दोनो ही उम्मीदवार 30 सितंबर को अपने नामांकन पत्र दाखिल करेंगे यह अब साफ हो गया है कि शशि थरूर और दिग्विजय सिंह के बीच अध्यक्ष का चुनाव होगा।

मध्यप्रदेश से दिग्विजय सिंह के प्रस्तावक / समर्थक की सूची भी आ गई है जिसमें सुश्री हिना कांवरे, पीसी शर्मा जीतू पटवारी लाखन सिंह यादव आलोक चतुर्वेदी, आरिफ मसूद, कांतिलाल भूरिया,रामलाल मालवीय,सुरेंद्र सिंह बघेल,विपिन वानखेड़े ,कमलेश्वर पटेल और डॉ गोविंद सिंह शामिल है। यह सभी दिल्ली रवाना हो गए हैं।

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जयपुरराजस्थान

राजस्थान का सियासी बवंडर जारी, पायलट को नहीं बनने देंगे सीएम, हाईकमान को अन्य 5 नाम की सूची भेजी, क्या होगी अनुशासनहीनता की कार्यवाही ?

Ashok Gehlot and Sonia Gandhi

जयपुर / राजस्थान में अशोक गहलोत की जगह सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनाने को लेकर कांग्रेस हाईकमान के प्रयासों को पलीता लग गया है और जोरदार सियासी बबंडर जारी है अशोक गहलोत और उनके समर्थक विधायक किसी भी हाल में सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनते देखना नहीं चाहते जबकि अशोक गहलोत ने तो एक तरह से उनके खिलाफ अपनी 50 साल की राजनीति को ही दांव पर लगा दिया है । बताया जाता है गहलोत ने मुख्यमंत्री पद से हटाने पर अपने खेमे के 5 विधायकों के नामों की सिफारिश हाईकमान से की हैं।

पिछले तीन दिन से राजस्थान की कांग्रेस सरकार का अगला मुख्यमंत्री कोन हो उसपर घमासान जारी हैं कांग्रेस हाईकमान ने अजय माकन और मल्लिकार्जुन खड़गे को गहलोत की जगह सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनाने बावत एक राय बनाने के लिए पर्यवेक्षक बनाकर भेजा था लेकिन निर्धारित समय घोषित होने के बावजूद विधायक सीएम हाउस में नहीं जुटे उसी दौरान गहलोत समर्थक विधायको ने जिनकी संख्या करीब 71 बताई जाती है विधायक शांति धारीवाल के निवास पर एक बैठक की और कड़े तैवर दिखाते हुए सचिन पायलट को किसी भी हाल में मुख्यमंत्री के लिए अपना समर्थन नहीं देने की बात कही। बैठक में विधायक अमीर खान और शांति धारीवाल ने कहा कि जिस व्यक्ति ने बीजेपी से मिलकर गहलोत सरकार को गिराने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी उसको हम मुख्यमंत्री कैसे बना सकते है उन्होंने पार्टी के साथ गद्दारी की थी एक तरह से उन्होंने उन्होंने पायलट के खिलाफ बगावत का बिगुल फूंक दिया।

एक तरफ गहलोत समर्थक विधायक पर्यवेक्षकों की बुलाई बैठक में आमंत्रण देने के बाबजूद शामिल नहीं हुए वही बाद में उन्होंने मल्लिकार्जुन खड़गे और अजय माकन को तीन शर्तों का एक पत्र सौंपा । जिसमें कहा गया कि मुख्यमंत्री कोन बने इसका निर्णय राष्ट्रीय अध्यक्ष के 19 अक्टूबर को होने वाले चुनाव के बाद हो, दूसरा सभी विधायकों से अलग अलग चर्चा नहीं होगी हम सब एक साथ पर्यवेक्षकों से मिलने को तैयार थे, तीसरा अशोक गहलोत खेमे के किसी भी विधायक को मुख्यमंत्री बनाया जाए हमें सचिन पायलट मुख्यमंत्री के रूप में स्वीकार नहीं है। इसके बाद अजय माकन ने मीडिया से चर्चा में विधायकों की इन मांगों को रखते हुए कहा कि 19 तारीख के बाद फैसला हो यह संभव नहीं है रिजॉल्यूशन आ चुका है चुनाव जीतने पर फैसला कैसे होगा, उन्होंने बताया कि एक साथ विधायकों से बात नहीं हो सकती अलग अलग चर्चा होना थी और उनसे बात करने के बाद ही मुख्यमंत्री के नाम को अंतिम रूप दिया जाता है इसमें यह कंडीशन भी नही लगाई जा सकती कि कोई विशेष समर्थक को ही मुख्यमंत्री बनाया जाएं। सबसे बातचीत के बाद ही यह निर्णय होता हैं।

अजय माकन और मल्लिकार्जुन खड़गे बाद में दिल्ली लौट आएं और सोमवार की रात ही उन्होंने 10 जनपथ आकर सोनिया गांधी को वहां की वस्तुस्थिति से अवगत कराया सोनिया गांधी ने उनसे पूरी जानकारी और घटनाक्रम लिखित में मांगा है ऐसा अजय माकन ने प्रेस को बताते हुए सुबह अपनी लिखित रिपोर्ट सोनिया गांधी को सौंपने की बात कही हैं। इस दौरान माकन ने यह भी कहा कि विधायकों की यह जिद्द और बैठक में नहीं आना अनुशासनहीनता की परिधि में आता है अब सवाल यह भी उठ रहे है क्या सोनिया गांधी इन विधायकों को नोटिस जारी करने के साथ क्या उनके खिलाफ कोई कड़ा रुख दिखाते हुए कार्यवाही करती है ?

बताया जाता है कि अशोक गहलोत ने पर्यवेक्षकों को मुख्यमंत्री पद के लिए 5 नामों की सिफारिश की है जिसमें विधायक सीपी जोशी,गोविंद सिंह डोटासरा, हरीश चौधरी रघु शर्मा और भंवर सिंह भाटी के नाम शामिल है।

इस घटनाक्रम से साफ है कि गहलोत समर्थक विधायक सचिन पायलट को किसी भी हालत में मुख्यमंत्री पद पर देखना नही चाहते और वह इसी बात को लेकर अड़े है और यह भी साफ है कि इसमें उन्हे अशोक गहलोत का भी पूरा पूरा साथ मिल रहा हैं। और हाईकमान यह नहीं समझता यह कहना भी गलत होगा यदि कहे एक तरह से अशोक गहलोत ने इसको लेकर अपनी 50 साल की राजनीति को दांव पर लगा दिया है तो कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी। अब देखना होगा सोनिया गांधी का गहलोत और उनके समर्थक विधायको लेकर आगे क्या रुख रहता है।

खबर यह भी है कि यह विधायक भी नही चाहते कि गहलोत कांग्रेस अध्यक्ष बने जबकि अशोक गहलोत भी मुख्यमंत्री की कुर्सी छोड़ना नहीं चाहते थे वे हाईकमान के दवाब के कारण कांग्रेस अध्यक्ष बनने पर राजी हुए और दोनों पद सम्हालने की बात वह पहले कह भी चुके हैं।

जहां तक राजस्थान विधानसभा में विधायको की सिलसिलेवार संख्या पर नजर डाली जाए तो राजस्थान में कुल 200 विधायक है और बहुमत के लिए 101 की संख्या चाहिए,वर्तमान में कांग्रेस के पास 126 विधायक संख्या है जिसमें 108 कांग्रेस और 18 निर्दलीय और अन्य का उसे समर्थन हासिल है जबकि बीजेपी पर 71 विधायक है और उसे आरएलपी के तीन विधायकों का साथ मिला हुआ है। यदि बीजेपी राजस्थान में ऑपरेशन लोटस चलाती है तो उसे कमोवेश 27 विधायकों का साथ चाहिए।

अब कांग्रेस में इसको लेकर काफी हलचल देखी जा रही है क्या सरकार रहती है या फिर गिरती है यह भी कयास लगाए जा रहे है जहां तक कांग्रेस का सवाल है सबकी नजर सोनिया गांधी और राहुल गांधी पर टिकी है क्योंकि इससे कांग्रेस पार्टी और हाईकमान दोनो की साख भी दांव पर लगी है कि वह अध्यक्ष के चुनाव के बीच एकाएक आए इस संकट को कैसे टाल पाते है और राजस्थान की सरकार को बचा पाते है या नहीं। आज कांग्रेस हाईकमान कुछ ना कुछ निर्णय ले सकता हैं। जैसा के देश में काग्रेस की छत्तीसगढ़ और राजस्थान में दो ही राज्यों में सरकार है क्या वह कड़ा रुख दिखाकर राजस्थान की सरकार और उसके साथ अशोक गहलोत को खौना चाहेगी। कांग्रेस में इस समय एक तरफ कुंआ एक तरफ खाई वाली स्थिति है।

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देशराजस्थान

देश के गौवंश पर ग्रहण, उत्तर भारत में लाखों गाय लंपी रोग की चपेट में, 1.50 लाख मवेशी बीमार करीब 10 हजार की मौत, दवाओं की कमी मौत का बड़ा कारण

Lampi Virus

जयपुर/ अहमदाबाद/ भोपाल / देश के उत्तर भारत का क्षेत्र का गौवंश लंपी बीमारी की चपेट में आ गया है खासकर राजस्थान गुजरात हिमाचल पंजाब हरियाणा के बाद अब मध्यप्रदेश के कुछ क्षेत्र में भी यह रोग फैलने लगा हैं डेढ़ लाख से ज्यादा मवेशी इस रोग से ग्रस्त है जबकि करीब 10 हजार गौवंश की मौत हो चुकी है अभी तक अकेले राजस्थान में 5800 मवेशी की मौत इस बीमारी से हो चुकी हैं और राजस्थान के कुछ ग्रामीण क्षेत्रों में पलायन की स्थिति है साथ ही इससे पीड़ित पशुओं के दूध उत्पादन में भारी कमी देखी जा रही है गुजरात में एक दिन में 50 हजार लीटर दूध की कमी आ गई हैं जिससे साफ होता है कि इस वायरस से अधिक संख्या में दुधारू गौवंश का खात्मा हो गया हैं।

सीधा सादा मूक प्राणी झेल रहा है असीमित पीड़ा, गौवंश में आई इस बीमारी से अप्रत्यक्ष रूप से मनुष्य भी प्रभावित

लंपी रोग की महामारी अप्रत्यक्ष रूप से मनुष्य पर प्रभाव डाल रही है क्योंकी पालतू गौवंश में तेजी से यह संक्रमण रोग फेल रहा है जिससे उनके दूध देने की क्षमता दिन प्रतिदिन कम होती जा रही है अभी तक इसके मानव में कोई दुष्परिणाम तो सामने नही आए दूध उबाल कर पीने की सलाह डॉक्टर जरूर दे रहे है।लेकिन खासकर किसान और ग्रामीण इलाको में पशुधन पर अपनी जीविका चलाने वाले परिवारों पर दोहरी मार पड़ रही है उनकी महिने की एक निर्धारित कमाई पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा हैं तो उसका पधुधन उसका साथ छोड़कर कालकलवित हो रहा है। गाय एक सीधा सादा निरीह प्राणी है जो इस रोग की पीड़ा को सह रहा है उसे वह किसी तरीके से व्यक्त भी नहीं कर सकता सीधे सादे इंसान की तुलना यह कहकर की जाती है कि वह गौ समान हैं फिर आप सोच सकते है वही निरीह प्राणी जो हमें अमृत समान दूध देता है आज हमारे देश का गौवंश किस त्रासदी और दर्द और पीड़ा से गुजर रहा हैं समझा जा सकता है।

राजस्थान की स्थिति ज्यादा खराब 200 गांव का गौवंश चपेट में –

राजस्थान में स्थिति बद से बदतर होती जा रही है कुल डेढ़ करोड़ गौवंश है और लंपी रोग से 200 गांव प्रभावित है इस पशुधन में से 1.20.782 दुधारू पशु इस संक्रमण रोग की चपेट में है और 94222 मवेशियों का इलाज चल रहा है यहां अभी तक 5804 गायों की मौत हो चुकी है जिसमें सबसे अधिक 1307 मौते बाड़मेर जिले में और गंगानगर में 846 मवेशियों की मौत हुई है।

राजस्थान के जोधपुर से 40 किलोमीटर दूर 33 ग्राम पंचायतों के 77 गांव बुरी तरह इस बीमारी की चपेट में है इन पंचायतों की 5 लाख की आबादी में से एक लाख लोग पशुपालन कर अपना गुजारा करते है यहां की तिवरी पंचायत समिति के गांवों में तो पलायन की स्थिति है यहां गांव के बाहरी इलाकों में इस बीमारी से मरने वाले सैकड़ों पशु पड़े हुए है जो सड़कर आसपास का वातावरण प्रदूषित कर रहे है इन गांवों में गेलूगगाड़ी घेवड़ा बालरबा बिज कड़िया जैसे गांव आते हैं। जबकि पशुओं में आई इस महामारी की बीमारी से निजात दिलाने में चिकित्सा प्रशासन नाकाम सिद्ध हो रहा है यहां तक कि उसके पास एंटीबायोटिक और इम्यूनिटी बड़ाने की दवाइयों की भी खासी कमी हैं।

गुजरात में फैली बीमारी के बाद 50 हजार लीटर की दूध में कमी आई –

जबकि गुजरात में 33 में से 22 जिले इस रोग से प्रभावित है और 70 हजार गौवंश इस रोग की चपेट में हैं जिससे उनके दूध देने में कमी देखी जा रही है अकेले गुजरात में प्रतिदिन 50 हजार लीटर दूध की कमी आई है बताया जाता है बीमार पशु का 20 से 30 फीसदी तक दूध कम हो जाता है। जिससे साफ होता है कि औसतन गाय 5 लीटर दूध एक समय में देती है यदि 50 हजार लीटर दूध के उत्पादन में कमी आई है तो 10 हजार दुधारू पशु ऐसे है जिन्होंने दूध देना बंद कर दिया या उनकी मौत इस लंपी रोग ने ले ली है।

हिमाचल और हरियाणा भी प्रभावित –

लंपी वायरस का प्रकोप हिमाचल प्रदेश में भी देखा जा रहा है यह इस बीमारी की गिरफ्त में 6 जिले आ गए है और अभी तक 40 पशुओं की मौत हो चुकी है। जबकि हरियाणा अभी तक 200 केस ट्रेस किए गए है और इस प्रांत का यमुनानगर जिला सबसे अधिक प्रभावित हैं। कुछ मवेशी मरे भी हैं प्रशासन अपने तरीके से रोकथाम कर रहा है लेकिन यह बीमारी फिलहाल काबू में नहीं आ रही जिससे गौपालकों में काफी चिंता बनी हुई हैं।

मध्यप्रदेश में रतलाम से दाखिल हुआ लंपी वायरस

मध्यप्रदेश के रतलाम में भी लंपी वायरस की बीमारी दाखिल होने की जानकारी सामने आई है यहां 38 मामले सामने आ चुके है और आंबा क्षेत्र में पशुपालकों में डर साफ देखा जा रहा है जिले में शुरूआत में 2 गायों में इस संक्रमण के लक्षण देखने को मिले जबकि एक किसान की 4 गाय बीमार हो गई है कलेक्टर और पशु चिकित्सा विभाग भी सक्रिय हो गया है। कलेक्टर नरेंद्र सूर्यवंशी जतनारा, सेमलिया बोदना नामली और बरबोदना गांवो का दौरा करने भी गए और ग्रामीणों से संक्रमित पशुओं को स्वस्थ्य पशुओं से अलग रहने को भी कहा इस दौरान ग्रामीणों ने पशु विभाग के चिकित्सकों और स्टॉफ के आने और पशुओं के परीक्षण की बात भी कही इस मौके पर सयुक्त संचालक डा के एम बामनिया उपसंचालक डा आरके शर्मा और अन्य अमला भी मोजूद था।

लंपी वायरस के लक्षण

इस लंपी वायरस से संक्रमित होने वाले मवेशी के बदन पर लमस यानि फोड़े जैसी गांठे उठ आती है जो धीरे धीरे पूरे शरीर पर फेल जाते है और उनमें घाव भी हो सकते है। मुंह से लार गिरने लगती है बुखार के साथ सूजन आ जाती है नाक बहने लगती है भूख कम होने के साथ पशु का बजन भी कम होने लगता है साथ ही उसकी दूध देने की मात्रा घट जाती हैं और यदि गौवंश गर्भवती है तो बच्चा गिरने का खतरा होने के साथ लंबे समय की बीमारी के बाद पशु की मौत हो जाती हैं।

यह रोग किस वायरस से फैलता हैं

लंपी की घातक बीमारी का यह संक्रमण केप्रीवोक्सी वायरस से फैलता है जिसमें चीचड़ा या वाइट टिक्स मच्छर इस वायरस का वाहक बनता है। जेनेटिक रूप से यह कॉटवाक्स या सीपवाक्स वायरस से मिलता जुलता है यह जानकारी ग्लोबल एलाइंस ऑफ वेक्सीन एंड आर्गनाईजेशन से मिली है जिस तरह मानव के लिए WHO हैं उसी तरह यह वर्ड आफ एनीमल आर्गनाईजेशन की तरह काम करने वाली संस्था हैं।

इस बीमारी की शुरूआत कब हुई ,कहा से आया यह वायरस

अफ्रीका के जांबिया से सन 1929 में इस बीमारी की शुरूआत हुई और दुनिया में फैली जहां तक भारत का सबाल है सन 2020 में पशुओं में यह रोग महाराष्ट्र और पंजाब में भी फैला था लेकिन उस पर समय रहते काबू पा लिया गया था। इस बार इस वायरस के पाकिस्तान के रास्ते भारत आने की खबरे मिली है लेकिन इस बात की फिलहाल आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है सरकार और उसका संबंधित प्रशासन इस बात की जांच करवा रहा हैं।

क्या हम इस बीमारी के लिए तैयार थे,अब इसकी वेक्सीन कहा बन रही है –

यह सवाल है क्या पशु चिकित्सा प्रशासन और पशुपालक इस बीमारी के लिए पूर्व से तैयार थे तो कहा जा सकता है बिल्कुल नहीं इस आफत के आने के बाद पशुपालक और अधिक असावधानियां करने लगे जिससे स्थिति और बिगड़ने का खतरा पैदा हो गया। लेकिन गुजरात सरकार इस इस रोग के वायरस को खत्म करने के लिए प्रयास कर रही है उसका एनीमल हसवेंड्री डिपार्टमेंट इस रोग को दूर करने के लिए आगे आया है और हेस्टर बायो साइंस जो वेक्सीन की निर्माता कंपनी है उसने इसकी वेक्सीन का निर्माण भी शुरू कर दिया है यह वेक्सीन पशुपालक को 600 रुपए में प्राप्त होगी यहां पहले लोट में 40 हजार वेक्सीन तैयार की जा रही हैं। लेकिन हमें पशु संख्या के हिसाब से करोड़ों वेक्सीन की जरूरत हो सकती है जो अहम बात है।

इस घातक बीमारी से बचने के लिए क्या उपाय और सावधानी रखना होगी –

जहां मवेशियों को रखा जाए वह स्थान पूरी तरह साफ सुथरा रखे और उसे फिनाइल से प्रतिदिन धोए और धूप आने का इंतजाम रखे साथ ही उस जगह नीम का धुआं करें और पशुओं को एंटी वायरल दवाएं या काड़ा दे,जिससे फैलने वाला वायरस और मच्छर पशुओं के पास नही आ सके, स्वस्थ्य पशु को बीमार जानवर के संपर्क में या पास ना रखें। सबसे बड़ी सावधानी यह रखना है की इस लंपी बीमारी से ग्रस्त कोई मवेशी जब मर जाएं तो उसके शव को इधर उधर खुले में ना फैंके और गड्ढा खोदकर शव को उसमें दफना दे साथ ही शव के ऊपर नमक या चूना जरूर डाल दे। शवों को दफनाना इसलिए जरूरी वी क्योंकि पशु के मरने के बाद उसके शरीर का वायरस नहीं मरता वह आसपास फैलकर अन्य पशुओं में यह रोग फैला सकता हैं।

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देशबाड़मेरराजस्थान

राजस्थान के बाड़मेर के पास मिग 21 विमान क्रेश, दो पायलटों की मौत, वायुसेना के जांच के आदेश

MIG 21 Crash

बाड़मेर / राजस्थान के बाड़मेर के पास भीमड़ा गांव में लड़ाकू विमान मिंग 21 क्रेश हों गया जिससे विमान में सवार दोनों पायलटों की मौत हो गई। इंडियन एयर फोर्स ने इस विमान दुर्घटना की जांच के आदेश दे दिए हैं।

बताया जाता है उड़ान भरने के दौरान यह मिंग 21 विमान अचानक बाड़मेर के भीमड़ा गांव के ऊपर आकर मंढराने लगा और अनियंत्रित होकर क्रेश हो गया नीचे आने पर उसमें तेजी से आग लग गई और विमान का मलबा दूर दूर तक फेल गया। यह विमान दुर्घटना रात 9 बजे के आसपास की बताई जाती है। इस विमान में एक पायलट और एक को पायलट था इस हादसे में दोनो पायलटों की दुखद मौत हो गई।

इस विमान दुर्घटना के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने वायुसेना अध्यक्ष से बात कर जानकारी ली रक्षा मंत्री ने पायलटों की मौत पर गहरा दुख व्यक्त करते हुए कहा कि हमारी संवेदना मृतक पायलटों के परिवार से है। इधर वायुसेना प्रशासन ने इस विमान हादसे की जांच के आदेश दे दिए हैं।

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उदयपुरदेशराजस्थान

उदयपुर हत्याकांड की जांच NIA को, टेरर कनेक्शन का लगाएगी पता, मुख्यमंत्री ने बुलाई हाई लेबल मीटिंग, गिरफ्तार आरोपियों ने छुरे लहराते पीएम को दी थी धमकी

NIA

उदयपुर / राजस्थान के उदयपुर में तालिबानी तरीके से मंगलवार को दिनदहाड़े एक व्यक्ति की गला रेत कर हत्या करने और हत्या के बाद वीडियो वायरल करने वाले दोनों आरोपियों गौस मोहम्मद और मोहम्मद रियाज अंसारी को घटना के 6-7 घंटे के अंदर ही पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया यह अच्छी बात है लेकिन इस निर्मम हत्या को अंजाम देने वाले इन आरोपियों के दिल में इतनी नफरत और किसने भरी इसके पीछे कोन है इसे खोजने की जिम्मेदारी अब राजस्थान सरकार के साथ केंद्र पर आ गई हैं। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस घटना की जांच के लिए NIA की टीम को उदयपुर भेजा है जो अंतराष्ट्रीय स्तर पर मामले की पड़ताल करेगी।

धर्म के नाम पर हैवानियत –

धार्मिक उन्मांदता के चलते उदयपुर के धानमंडी इलाके में टेलरिंग की दुकान करने वाले कन्हैयालाल (50 साल) की निर्ममता से गला रेत कर दो बदमाशो ने हत्या कर दी और हत्या से पहले धमकी का वीडियो और हत्या करते हुए बनाया वीडियो भी वायरल कर अपने बेखौफ हौसलों के साथ पुलिस को खुली चुनौती दी थी। साथ ही वीडियो के जरिए छुरे लहराते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी आरोपियों ने जान से मारने की धमकी दी थी जो काफी गंभीर बात है। इस लोमहर्षक हत्याकांड के बाद मिले सुराग के आधार पर पुलिस ने घटना के चंद घंटों बाद दोनो आरोपियों गौस मोहम्मद और मो. रियाज अंसारी को राजसमंद के भीम इलाके से गिरफ्तार कर लिया बताया जाता है दोनो बाइक से फरार होने की तैयारी में थे। आरोपियों ने स्वीकारा की उन्होंने नुपूर शर्मा का समर्थन करने पर इस हत्याकांड को अंजाम दिया।

अंतिम संस्कार को लेकर विवाद सुलझा –

इधर पुलिस ने आज कन्हैयालाल का पोस्टमार्टम कराने के बाद शव परिजनों को सौंप दिया लेकिन उसके दाह संस्कार को लेकर विवाद की स्थिति उत्पन्न हो गई पुलिस सुरक्षा के चलते घर के पास अंतिम संस्कार को कह रहे थी लेकिन बाद में परिजनो की मर्जी के अनुसार अशोकनगर श्मशान घाट पर कन्हैयालाल का दाह संस्कार किया गया इस दौरान भारी भीड़ मोजूद रही वही पुलिस अधिकारी और पुलिस बल भी तैनात रहा।

कर्फ्यू लगा, इंटरनेट बंद, धारा 144 लागू –

उदयपुर में चप्पे चप्पे पर पुलिस बल तैनात हैं धानमंडी सहित शहर के सात थाना क्षेत्रों में फिलहाल कर्फ्यू लगा दिया गया है साथ ही इंटरनेट सेवा बंद है और उदयपुर सहित प्रदेश में धारा 144 लगा दी गई है जिससे हालातों पर काबू रखा जा सके।

किसका षडयंत्र था, किससे लिंक थी जांच होगी कहा मुख्यमंत्री ने –

जबकि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने एक बयान में सभी से शांति की अपील करते हुए कहा कि, क्या प्लान था, क्या षडयंत्र था,किससे लिंक है …? अंतरराष्ट्रीय लिंक है क्या …? इन सभी बातों का खुलासा होगा साथ ही इस घटना में जुड़े असामाजिक तत्वों की भूमिका की भी जांच होगी उन्होंने भरोसा दिया कि जल्द सच सामने आ जाएगा।

आर्थिक मदद और नोकरी का आश्वासन –

सरकार ने पीड़ित परिवार को 31 लाख ₹ की आर्थिक मदद और मृतक के बेटों को नोकरी देने का आश्वासन भी दिया हैं।

मुख्यमंत्री ने बुलाई हाई लेबल मीटिंग –

जबकि मुख्यमंत्री गहलोत जोधपुर का दौरा रद्द कर जयपुर लौट आए है और उन्होंने हाई लेबल मीटिंग भी बुलाई है जिसमे वह प्रदेश की कानून व्यवस्था का रिव्यू करेंगे इस बैठक में मुख्य सचिव डीजीपी होम एवं प्रदेश के उच्च पुलिस अधिकारी शिरकत करेंगे।

NIA की टीम उदयपुर पहुंची –

इस हत्याकांड की जांच NIA भी करेगी केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के कार्यालय से आए एक ट्वीट में यह जानकारी दी गई है NIA की एसआईटी की टीम इस प्रकरण में किसी संगठन और अंतराष्ट्रीय भूमिका की गहन जांच पड़ताल करने के साथ पाकिस्तान कनेक्शन की भी तफ्तीश करेगी।

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