कोलार/ कर्नाटक के कोलार में एक चुनावी सभा में कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने जातिगत जनगणना को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को खुली चुनौती दी है और कहा है की आप आपकी पार्टी ओबीसी की बड़ी हिमायती बनती है तो जल्द जातिगत जनगणना कराए जिससे ओबीसी के साथ सभी जाति वर्गो को उसका लाभ मिल सके। जबकि इस मुद्दे को लेकर समूचा विपक्ष एकजुट होता दिखाई दे रहा है।
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि 2011 में हमने जो जनगणना की थी उसमें ओबीसी वर्ग की गणना भी की गई थी यदि हम ओबीसी को आगे बढ़ाना चाहते है उसका हक उसे देना चाहते है तो जातिगत जनगणना का डॉटा सरकार रिलीज करें लेकिन उन्होंने यह भी कहा मैं जानता हूं हिंदुस्तान के प्रधानमंत्री ऐसा नहीं करेंगे लेकिन हमारी सरकार आती है तो हम जातिगत जनगणना के आंकड़े जारी करेंगे लेकिन हमारा प्रयास होगा हम लगातार सरकार पर इसके लिए दबाव बनाते रहें।
इधर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक चिट्ठी लिखी है जिसमें जनगणना के आंकड़े जारी करने की मांग उनसे की है कांग्रेस अध्यक्ष खड़गे ने कहा है कि कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों ने संसद में यह मांग उठाई भी थी उन्होंने कहा यूपीए सरकार ने 2011-2012 में जनगणना कराई थी लेकिन किन्हीं कारणों से यह जातिगत आंकड़े प्रसारित नही हो पाएं है लेकिन सामाजिक न्याय और सशक्तिकरण के कार्यक्रमों के लिए यह जरूरी है
जेडीयू नेता एवं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि जाति आधारित जन गणना हम पहले से कर रहे है पिछले दिनों बिहार की सभी राजनेतिक पार्टियों जिसमें खुद बीजेपी भी शामिल थी इस बाबत सर्व सम्मति से विधानसभा और विधानपरिषद में प्रस्ताव पारित किया गया था हमने केंद्रीय सरकार से मिलकर जातिगत मतगणना की मांग भी की लेकिन उस पर कोई ध्यान नहीं दिया गया। उन्होंने यह भी कहा कि 2011 में जो जनगणना हुई उसके आंकड़े आज तक जारी नही हुए। जेडीयू चाहता है बिहार के साथ देश में जातिगत जनगणना जल्द कराई जाएं। जबकि आरजेडी नेता और बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने कहा कि हमने उस समय सभी पार्टियों को लिखा था और जातिगत जनगणना के लिए साथ साथ आने का आग्रह भी किया था। क्योंकि जातिगत जनगणना से ही ओबीसी सहित अन्य जाति वर्गों को उनका हक मिल सकेगा।
एक तरफ बीजेपी ओबीसी के अपमान को लेकर कांग्रेस और राहुल गांधी को घेरने की कोशिश में लगी है और 2019 में कोलार में दिए बयान को लेकर उन्हें सजा मिलने के साथ उनकी सांसदी भी चली गई। लेकिन राहुल गांधी ने कर्नाटक के कोलार में ही एक चुनावी सभा में ओबीसी और इस वर्ग की जातिगत मतगणना का सबाल उठाकर उल्टा बीजेपी को ही कटघरे में खड़ा कर दिया है क्योंकि बीजेपी का रुख अभी तक तो जातिगत जनगणना के खिलाफ ही नजर आता हैं।